
real Phulera not happy with Panchayat series makers panchayat season 5 (फोटो सोर्स- सोशल मीडिया)
panchayat season 5: सीहोर के महोड़िया गांव (Mahodiya Village) में फिल्माई गई वेब सीरीज पंचायत के कारण निर्माता-निर्देशक की चमक-दमक तो बढ़ गई, लेकिन गांव की सूरत नहीं बदली। भवन के इर्द-गिर्द वेब सीरीज के चार सीजन की शूटिंग हुई। अब उसके सामने गड्ढे हैं। रास्ते में कीचड़, गांव में पेयजल संकट भी दिखाई देता है।
पांच साल से गांव भले ही छोटे परदे पर चमक रहा है, लेकिन ग्रामीणों के चेहरे मुरझाए हुए हैं। वेब सीरीज पंचायत के चार सीजन आ चुके हैं। मेकर्स ने सीजन पांच की घोषणा भी कर दी है, लेकिन आर्थिक पक्ष के हिसाब से भी देखा जाए तो गांव को कुछ खास नहीं मिला है। (panchayat series)
वेब सीरीज में दिखाया गया फुलेरा गांव उत्तरप्रदेश के बलिया का फुलेरा नहीं, बल्कि सीहोर जिले का महोड़िया है। यह जिला मुख्यालय से 10 किलोमीटर दूर है। 2019 में जब शूटिंग शुरु हुई, तब पंचायत भवन की बाउंड्रीवॉल तोड़ दी गई। परिसर के पेवर ब्लॉक निकाल दिए। सीरीज में दिखाया गया गांव का रास्ता बदहाल है। पानी की टंकी गांव की सुंदरता देखने के लिए ही है। बोर सूखने से टंकी भी सूखी पड़ी है। (panchayat series)
ग्रामीणों ने बताया कि एक सीजन में 50 हजार रुपए भी मिले हों तो बहुत हैं। पंचायत सचिव हरीश जोशी के अनुसार मेकर्स ने 10 लाख रुपए पंचायत भवन की बाउंड्रीवॉल, पेवर ब्लॉक तोड़ने के एवज में जमा कराए हैं। गांव के एक व्यक्ति का मकान सात हजार रुपए प्रति महीने पर ले रखा है। उसमें शूटिंग का सामान रखा है। सीजन 4 की शूटिंग के दौरान तो मेकर्स से कई बार पैसे के लेन-देन को लेकर ग्रामीणों का झगड़ा हुआ था। (panchayat series)
महोड़िया में वेब सीरीज की शूटिंग से मेकर्स को खूब फायदा और लोकप्रियता मिल रही है, लेकिन यहां के विकास और लोगों के जनजीवन पर कोई असर नहीं पड़ा। गांव को देखने रोज 20 से 50 गाड़ियों से लोग आते हैं, लेकिन गांव में चाय की दुकान तक नहीं है। फिल्मी प्रधान मंजू देवी के पड़ोस में रहने वालीं तारा बाई ने बताया कि जब शूटिंग होती है तो एक-दो महीने के लिए कुछ लोगों को काम मिल जाता है। इसके अलावा कोई फायदा नहीं हुआ।
स्थानीय लोगों के अनुसार शूटिंग के समय खेत में गेहूं की फसल थी, जो खराब हो गई। मेकर्स ने वापस तार फैसिंग लगवाने का भरोसा दिया था। बाद में एक भी पैसा नहीं दिया। मोहन मालवीय ने बताया कि उन्होंने तीन महीने पानी सप्लाई किया, लेकिन पैसे नहीं मिले।
Published on:
10 Jul 2025 09:25 am
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