
सिवनी. पेंच टाइगर रिजर्व बाघिन की खोज छठवें दिन बुधवार को भी जारी रही। बड़ी बात यह है कि सर्चिंग टीम को कुछ देर के लिए बफर क्षेत्र में बाघिन घूमते हुए दिखाई भी दी, लेकिन वह पल भर में ही चकमा देकर गायब हो गई। ऐसे में उसे पकड़ा नहीं जा सका। बता दें कि राजस्थान के बाघों का नस्ल सुधारने देश के पहले इंटर स्टेट ट्रांसलोकेशन के तहत चयनित पेंच टाइगर रिजर्व की खास बाघिन की तलाश की जा रही है। चालाक बाघिन लगातारअपने आसपास इंसानों को देखकर अपनी जगह बदल रही थी। इसे देखते हुए पेंच प्रबंधन ने मंगलवार को अभियान में बदलाव किया। इंसानी दखल कम कर बाघिन को पकडऩे की योजना बनाई गई। पेंच में सर्चिंग कर रही 60 सदस्यीय टीम में से 25 लोगों को को ही तैनात किया गया। 8 हाथी और 40 से अधिक कैमरे की मदद ली जा रही है। अभियान में बदलाव से सर्चिंग टीम को बुधवार को सफलता भी मिली और जंगल में मानव हस्तक्षेप कम होने से बाघिन ने अपनी प्राकृतिक गतिविधियों को पुन: शुरू कर दिया। हालांकि सर्चिंग टीम जब तक अन्य लोगों को सूचना देती तब तक बाघिन गायब हो गई। इसके बाद पूरे दिन टीम उसे खोजती रही। बता दें कि मध्यप्रदेश के सिवनी स्थित पेंच टाइगर रिजर्व से राजस्थान के रामगढ़ विषधारी टाइगर रिजर्व के बीच चल रहे अंतरराज्यीय बाघ स्थानांतरण अभियान (इंटरस्टेट टाइगर ट्रांसलोकेशन) के तहत 28 नवंबर से टीम बाघिन को पकडऩे के लिए जुटी हुई है। पेंच टाइगर रिजर्व प्रबंधन सभी प्रोटोकॉल और रणनीतियों के अनुसार उसकी खोजबीन कर रही है।
Published on:
04 Dec 2025 12:28 pm
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