
नमाना. स्टेट हाइवे 29 में हो रहे घर गड्ढे वह निकल रही गिट्टी
नमाना. नाम बड़े दर्शन छोटे यह कहावत इन दोनों नमाना बूंदी मार्ग पर सटीक बैठ रही है। कहने को तो नमाना बूंदी मार्ग स्टेट हाइवे है, लेकिन इस मार्ग के हालात कच्ची सड़क से भी खराब है। इस मार्ग पर अगर कोई यह समझ कर आ जाए की स्टेट हाइवे है जल्दी पहुंच जाएंगे तो यह उसकी भूल होगी, इससे तो अच्छा कच्चे रास्ते पर चलने से ही नमाना की दूरी समय पर तय हो सकती है। राज्य सरकार ने एक दशक पहले नमाना बूंदी वाया गरडदा होते हुए बिजोलिया मार्ग को स्टेट हाइवे 29बी घोषित कर दिया था, उसके बाद इसकी प्रशासनिक आदेश जारी किए गए, लेकिन उसके बाद से आज दिन तक इस मार्ग का निर्माण कार्य शुरू नहीं हो पाया है। जबकि नमाना बरड क्षेत्र का मुख्य द्वार कहलाता है।
दोनों राजनीतिक दलों में क्षेत्र के जनप्रतिनिधि अपना अच्छा प्रभाव रखते हैं, लेकिन आज दिन तक इस मार्ग की मरम्मत नहीं करवा पाए हैं। अब तो मार्ग की हालत यह हो गई है कि इस पर बरसात के दिनों में पैदल चलना भी मुश्किल हो रहा है। ग्रामीण ग्राम पंचायत से लेकर विधानसभा तक अपनी अर्जी लगा चुके हैं। अधिकारियों की माने तो इस सड़क को बनने में अभी एक से डेढ़ वर्ष और लग जाएगा, जब तक लोगों को इस गड्ढे युक्त सड़क पर ही सफर करना पड़ेगा।
180 करोड़ से होगा निर्माण
स्टेट हाइवे 29 बी निर्माण के लिए 180 करोड रुपए का बजट जारी हुआ है। इस मार्ग का निर्माण पीपीपी मोड पर किया जाएगा, लेकिन अभी वन विभाग की अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी नहीं होने से लागत और बढ़ सकती है विभागीय सूत्रों का कहना है कि जिस समय सड़क निर्माण के लिए सारे अवरोध दूर हो जाएंगे, उस समय लागत और बढ़ेगी।
राहगीर हो रहे चोटिल
स्टेट हाइवे 29 बी क्षतिग्रस्त होने के चलते आए दिन इस पर सफर करने वाले लोग दुर्घटनाग्रस्त हो रहे हैं। बरसात के दिनों में तो इस मार्ग पर वाहन चलाना सबसे अधिक मुश्किल है। बावड़ी खेड़ा गांव के पास तो एक फिट कर पानी भरा रहता है, जिससे दोपहिया वाहनों को निकालना मुश्किल हो रहा है।
वन विभाग बन रहा रोड़ा
स्टेट हाइवे 29 बी के निर्माण को लेकर वन विभाग का अनापत्ति प्रमाण पत्र अभी नहीं मिला है। विभाग के सूत्रों का करना है कि 28.21 हेक्टेयर स्टेट हाइवे 29 बी में वन विभाग में आ रहा है, जिसका अनापत्ति प्रमाण पत्र अभी तक जारी नहीं हुआ है। अनापत्ति प्रमाण पत्र को लेकर कुछ कहा नहीं जा सकता है, इसमें कितना समय लगेगा यह कोई बताने को तैयार नहीं है।
28.21 हैक्टेयर भूमि वन विभाग में है। वन विभाग के अनापत्ति प्रमाण पत्र के लिए विभाग के स्तर पर फाइल जयपुर गई हुई है। अब वहां से कब अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी होता है, इसके बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता है। सड़क निर्माण में भूमि अवाप्ति की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। जैसे ही वन विभाग से प्रमाण पत्र मिलेगा, सड़क निर्माण की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी।
मुकेश गोचर, कार्यवाहक अधिशासी अभियंता, पीपीपी मोड सार्वजनिक निर्माण विभाग कोटा
Published on:
08 Jul 2024 07:03 pm
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