
सूरतगढ़. स्वास्थ्य विभाग के राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन कार्यक्रम के तहत राज्य स्तरीय तीन सदस्यीय टीम गुरुवार को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र पहुंची। यह टीम ने दो दिन तक सीएचसी की निर्धारित मापदण्डों की जांच करेगी। गुरुवार को टीम ने चिकित्सालय की लेबर रूम, जच्चा बच्चा वार्ड व पोस्ट ऑपरेटिव वार्ड का निरीक्षण किया। टीम ने लेबर रूम में अंदर प्रवेश के लिए रखी स्लीपर पर मेडिकल टेप लगाने से ऐतराज जताते हुए इससे संक्रमण का खतरा बढऩे की आशंका जताई। वही, एनबीएसयू इकाई में एक दवाई एक्सपायरी मिलने पर उन्होंने एक्सपायरी दवाई व इंजेक्शन नहीं रखने की भी हिदायत दी।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र की विभिन्न इकाइयों की गुणवत्ता की जांच के लिए राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन कार्यक्रम के तहत चुरू से आई राज्य स्तरीय टीम के सदस्य हेल्थ मैनेजर डॉ.अनुज शर्मा, आयुर्वेदिक चिकित्सक कमलेश कुमार व नर्सिग ऑफिसर बजंरग लाल हर्षवाल गुरुवार सुबह सीएचसी पहुंचे। टीम सदस्यों ने लेबर रूम का जायजा लिया। इस दौरान अधिकारियों ने लेबर रुम में प्रवेश के लिए रखे स्लीपरों पर मेडिकल टेप लगाने पर ऐतराज जताते हुए कहा कि इससे संक्रमण बढऩे का खतरा रहता है। इसके बजाए सामान्य स्लीपरों को रखा जा सकता है। इसके अलावा दीवार पर विभिन्न बैनर उखड़े होने पर उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के निर्देशानुसार ही एनक्यूएएस टीम निरीक्षण कर रही है। गाइडलाइन के तहत बैनर सही ढंग से लगे होने चाहिए थे। ऐसी छोटी छोटी गलतियों की वजह से चिकित्सालय एनक्यूएएस के निर्धारित मापदण्डों पर खरा नहीं उतरता है। इसके तहत राज्य स्तरीय अधिकारियों की टीम से आने से पूर्व इन बिन्दुओं पर काम होना चाहिए था।
इस दौरान टीम सदस्यों ने लेबर रूम की एनबीएसयू इकाई में रखी दवाईयों व इंजेक्शनों की भी जांच की। इस दौरान एक दवा एक्सपायरी तिथि की मिली। जिस पर टीम सदस्यों ने नाराजगी जताई। वही अंदर पड़ी सक्शन मशीन को बाहर रखने की हिदायत दी। टीम सदस्यों ने कहा कि एक्यूएएस टीम के निरीक्षण से पूर्व रंग रोगन व उखड़े पोस्टरों को सही करने सहित तमाम कार्य पूर्ण होने चाहिए थे। हेड वॉश के लिए अलग से व्यवस्था हो, इस पर पूरा ध्यान देने की जरूरत है।
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राज्य स्तरीय अधिकारियों की टीम ने जब जच्चा बच्चा वार्ड का जायजा लिया तब प्रसूताओं के बेड पर परिजन बैठे दिखाई दिए। टीम सदस्यों ने कहा कि इतनी भीड़ जच्चा बच्चा वार्ड में नहीं होने चाहिए। इसके बाद अन्य चिकित्सा कर्मियों ने भीड़ को बाहर भेजा। अधिकारियों ने जच्चा बच्चा वार्ड में लगे बेडों में निर्धारित नियमानुसार दूरी नहीं होने पर व्यवस्था में सुधार करने के निर्देश दिए। इसके अलावा टीम सदस्यों ने पोस्ट ऑपरेटिव वार्ड के बाहर किसी तरह के वार्ड की सूचना नहीं लगने व बाहर सफाई के लिए तीन बाल्टियां रखने पर ऐतराज जताया। उन्होंने वार्ड में एक तरफ ऑपरेशन मरीज तथा दूसरी तरफ जटित बीमारी से ग्रस्ति बच्चों के भर्ती के लिए लगाए बेडों की व्यवस्था देखी तो अधिकारियों ने चिकित्सालय प्रशासन को वार्ड की जगह बदलने की हिदायत देते हुए कि यहां जच्चा बच्चा वार्ड तथा जच्चा बच्चा वार्ड में बच्चा वार्ड बनाया जाए। जच्चा बच्चा वार्ड के आगे की पड़ी खाली जगह को पैक करके चार ओर बेड लगाए। ताकि खाली जगह का सदुपयोग हो सकेगा।
राज्य स्तरीय अधिकारियों की टीम ने गुुरुवार शाम को बीसीएमओ कार्यालय के हॉल में सीएचसी के चिकित्सकों व नर्सिंग कर्मियों की बैठक ली। इसमें अधिकारियों ने एनक्यएएस के निर्धारित मापदण्डों की पालना का आह्वान किया। उन्होंने बताया कि चिकित्सालय की विभिन्न इकाइयों की गुणवत्ता के लिए दी गई चेकलिस्ट के हिसाब से कार्य किया जाए। ताकि अधिकारियों के निरीक्षण के समय किसी तरह की कोई समस्या ना हो सके। राज्य स्तरीय अधिकारियों की टीम शुक्रवार को भी सीएचसी का निरीक्षण करेगी। गुरुवार को निरीक्षण के दौरान सीएचसी प्रभारी डॉ.नीरज सुखीजा, डॉ. हनुमान प्रसाद, नर्सिंग अधीक्षक सुरेन्द्र पारीक,नर्सिंग ऑफिसर राकेश नायक आदि मौजूद रहे।
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वही,स्वास्थ्य विभाग के गुणवत्ता आश्वासन कार्यक्रम के तहत विभागीय टीम ने कस्बे के राजियासर के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का निरीक्षण किया।बीसीएमओ डॉ.मनोज कुमार अग्रवाल व बीपीएम हंसराज भाटी ने व्यवस्थाओं का जायजा लिया। इसके तहत सफाई व्यवस्था को लेकर अधिकारियों ने नाराजगी जाहिर करते हुए आवश्यक दिशा निर्देश दिए। अधिकारियों ने लेबर रूम व मोर्चरी का अवलोकन किया। इस अवसर पर ग्रामीण श्योपतङ्क्षसह कायल, शेरङ्क्षसह नरूका, छोटूराम झोरड़ ने चिकित्सा अधिकारियों से डॉक्टरों के रिक्त पदों भरने सहित अन्य मांगे रखी।
Published on:
28 Feb 2025 10:56 am
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