उदयपुर: सीएमएचओ कार्यालय के अधीन एबुलेंस और अन्य गाड़ियों में करीब एक से डेढ़ करोड़ के डीजल घोटाले का राजस्थान पत्रिका की ओर से भंडाफोड़ करने के बाद चिकित्सा विभाग जांच के नाम पर अभी चिट़्ठी-चिट़्ठी खेल रहा है। संयुक्त निदेशक कार्यालय से सीएमएचओ से अब तक तीन चिट्ठियां लिखकर अलग-अलग पाइंट पर रिपोर्ट और जवाब मांगे गए हैं।
लिखित में रिपोर्ट मिलने के बाद उसे जयपुर मुख्यालय भिजवा दिया गया है। अब अधिकारियों का कहना है कि वहां से आदेशानुसार ही जांच का क्रम आगे बढ़ाया जाएगा। विभाग स्तर पर चल रहे चिट्ठी के इस खेल में अभी भी अनुत्तरित सवाल खड़ा है कि आखिरकार डीजल किसने पिया, गाड़ी ने या अफसरों ने।
गाड़ी की टंकी 40 लीटर की और डीजल भरवाया 65 लीटर शीर्षक से खबर प्रकाशित कर सीएमएचओ कार्यालय की एबुलेंस गाड़ियों में डीजल घोटाले को उजागर किया था। इसमें सीएमएचओ के अधीन एबुलेंस और गाड़िय़ों की 40 से 45 लीटर की टंकियों में 65 से 70 लीटर डीजल भरवाने की गड़बड़ियां खुली थी। इनमें कई गाड़ियां तो ऐसी थी, जिनमें बिना शहर से बाहर गए लगातार दिनों में 5-5 हजार का डीजल भरवाया गया।
इधर, सीएमएचओ डॉ. अशोक आदित्य ने वाहन संधारण करने वाले कनिष्ठ लिपिक अनूप साहनी को पूर्व में कारण बताओ नोटिस थमाते हुए उसका पदस्थापन पुन: मूल जगह नाई सीएचसी में किया। इस आदेश के बाद एक बार वह फरार हो गया। वापस आने पर पहले उसे मूल विभाग में भेजा गया और उसे जवाब व जांच के लिए पुन: प्रतिनियुक्ति पर सीएमएचओ कार्यालय में लगाया गया है।
डीजल घोटाले का पत्रिका में खुलासे के बाद संयुक्त निदेशक कार्यालय से सीएमएचओ को अलग-अलग समय में तीन पत्र भेजे गए। हर पत्र में उन्होंने पत्रिका की खबर में एक-एक लाइन का हवाला देकर उस संबंध में जवाब व रिपोर्ट मांगी। सीएमएचओ ने उसकी जानकारी उपलब्ध करवा दी। संयुक्त निदेशक कार्यालय से इस रिपोर्ट को चिकित्सा विभाग को भिजवा दिया गया। वहां से अब अग्रिम आदेश पर कार्रवाई की जाएगी।
Published on:
18 Jun 2025 11:25 am