शहर के साथ ही इसकी झीलों के कैचमेंट एरिये में अच्छी बारिश होने से पिछोला ( Pichola ) झील में 24 घंटे में 18 इंच पानी की आवक हुई। इसका जलस्तर रात तक 10 इंच हो गया, जो गुरुवार को माइनस 8 इंच था। मानसून ( Mansoon ) के सक्रिय होने से बारिश के लिए तरस रहे लोगों को झीले भरने की आस जगी।
उदयपुर में चार इंच बारिश
रातभर में शहर में 106, बागोलिया 90, डाया 83, जयसमंद 161, गोगुंदा 85, देवास 114, झाड़ोल 62, मदार 54, नाई में 78 मिमी बारिश हुई। इसी प्रकार सई डेम 61, सलूंबर 61, वल्लभनगर 114, केजड़ 75, ओगणा 47, सोम पिकअप वियर 45, सोम कागदर 36, ऋषभदेव 49, कोटड़ा 49, खेरवाड़ा 32, बावलवाड़ा 105, सेमारी में 65 मिलीमीटर बारिश ( Rain) रिकॉर्ड की गई।
रातभर में शहर में 106, बागोलिया 90, डाया 83, जयसमंद 161, गोगुंदा 85, देवास 114, झाड़ोल 62, मदार 54, नाई में 78 मिमी बारिश हुई। इसी प्रकार सई डेम 61, सलूंबर 61, वल्लभनगर 114, केजड़ 75, ओगणा 47, सोम पिकअप वियर 45, सोम कागदर 36, ऋषभदेव 49, कोटड़ा 49, खेरवाड़ा 32, बावलवाड़ा 105, सेमारी में 65 मिलीमीटर बारिश ( Rain) रिकॉर्ड की गई।
शुक्रवार को यहां बरसे मेघ सुबह 8 से शाम 5 बजे तक उदयपुर शहर में 12, उदयसागर पर 15, बागोलिया पर 4, गोगुंदा पर 23, कोटड़ा पर 16, वल्लभनगर पर 9, मदार 10 और झाड़ोल में 12 मिलीमीटर बारिश ( Rain) दर्ज की गई।
पूरे दिन सुहाना मौसम
सुबह से रह-रहकर बारिश ( Rain) का दौर चला, लेकिन यह बारिश थोड़ी-थोड़ी देर के लिए और कम मात्रा में हुई। दिनभर मौसम सुहाना रहा। रात को 6 और शाम को 3.5 फीट चली सीसारमा
तेज बारिश से गुरुवार देर रात सीसारमा नदी में पानी का बहाव 6 फीट से ऊपर रहा। बारिश धीमी होने के साथ ही सुबह 8 बजे नदी का स्तर घटकर 8 फीट रह गया। शाम को नदी में 3.5 फीट पानी बह रहा था।
सुबह से रह-रहकर बारिश ( Rain) का दौर चला, लेकिन यह बारिश थोड़ी-थोड़ी देर के लिए और कम मात्रा में हुई। दिनभर मौसम सुहाना रहा। रात को 6 और शाम को 3.5 फीट चली सीसारमा
तेज बारिश से गुरुवार देर रात सीसारमा नदी में पानी का बहाव 6 फीट से ऊपर रहा। बारिश धीमी होने के साथ ही सुबह 8 बजे नदी का स्तर घटकर 8 फीट रह गया। शाम को नदी में 3.5 फीट पानी बह रहा था।
अलसीगढ़ में आया 3.5 फीट पानी देवास प्रथम के अलसीगढ़ स्थित बांध में 3.5 फीट पानी की आवक हुई। इसका जलस्तर 10.6 इंच से बढ़कर करीब 14 फीट हो गया। 34 फीट भराव क्षमता वाले इस बांध का पानी पिछोला को भरने में सहायक है।