
अदालत में पिता और दो पुत्रों को सुनाई आजीवन कारावास की सजा
Father and two sons sentenced to life imprisonment उत्तर प्रदेश के उन्नाव में मामूली विवाद में एक व्यक्ति की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। अदालत ने पिता और दो पुत्रों को हत्या का दोषी मानना और आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। इसके साथ ही अर्थ दंड भी लगाया है। घटना मांखी थाना क्षेत्र की है। 5 नवंबर 2017 को बाजार से वापस आते समय पहले से घात लगाकर बैठे पिता और दो पुत्रों ने घटना को अंजाम दिया था। मृतक के भाई ने थाना में तहरीर देकर नामजद मुकदमा दर्ज कराया था। एडीजीसी विनय शंकर दीक्षित की अदालत में महत्वपूर्ण भूमिका रही। अपर सत्र न्यायाधीश कोर्ट संख्या 3 की अदालत में यह निर्णय सुनाया है।
मांखी थाना क्षेत्र के मझखोरिया निवासी सुरेश कुमार सिंह पुत्र संत सिंह ने अपनी तहरीर में बताया था कि उनके भाई की गोली मारकर हत्या कर गई है। जिसमें सलीम, करीम पुत्र गण कल्लू और कल्लू पुत्र छेदा शामिल है। विवेचना के बाद पुलिस ने अदालत में चार्जशीट दाखिल की।
घटना के संबंध में सुरेश कुमार ने बताया कि सलीम बीच बाजार में पूरे गांव को गाली दे रहा था। इस पर उसके भाई रामकरण ने कहा कि जिससे तुम्हारा विवाद है उसको गाली दो, पूरे गांव को गाली क्यों दे रहे हो? इतना सुनते ही सलीम और क्रोधित हो गया और उसने कहा कि गांव में किसी की हिम्मत नहीं है कि उसका कोई विरोध कर सके। अब तुम्हें जिंदा नहीं छोड़ेंगे।
इतना कहकर सलीम मौके से चला गया। अपने भाई रामकरण के साथ वापस गांव जा रहा था। पहले से घात लगाएं कल्लू और उनके दोनों बेटे सलीम और करीम बैठे थे। गांव जाते समय सलीम ने उनके भाई रामकरण को गोली मार दी। जिससे उसकी मौके पर मौत हो गई।
अदालत ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद कल्लू और उसके दो बेटों सलीम और करीम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। इसके साथ ही पांच-पांच हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है। अर्थ दंड ना देने की स्थिति में सभी को 6-6 महीने की अतिरिक्त साधारण कारावास की सजा काटनी होगी। मामले में पैरवी करने वालों में एडीजीसी विनय शंकर दीक्षित, विवेचना अधिकारी उप निरीक्षक धर्म प्रकाश शुक्ला, कोर्ट मोहर्रिर वीर प्रताप सिंह, खुर्शीद अहमद आदि शामिल है।
Updated on:
20 Nov 2024 06:20 pm
Published on:
20 Nov 2024 06:19 pm
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