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स्वच्छता अभियान से प्रेरित होकर पीएम मोदी ने खुद दिलायी थी सदस्यता, अब धरना देकर खोली सफाई व्यवस्था की पोल

रिक्शा ट्राली की कमाई से करते हैं सफाई, अधिकारियों ने नहीं दिया साथ तो करना पड़ा आंदोलन

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mangal kevat

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वाराणसी. रिक्शा ट्राली चलाने से हुई कमाई से चलाते है स्वच्छता अभियान। सालों से इसी काम को करने वाले मंगल केवट से पीएम नरेन्द्र मोदी भी बहुत प्रभावित हुए थे और संसदीय क्षेत्र बनारस के दौरे के दौरान पीएम ने खुद ही मंगल को बीजेपी की सदस्यता दिलायी थी। राजघाट पुल की सफाई नहीं होने से नाराज मंगल ने बीती रात से अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गये हैं लेकिन अधिकारियों को उनके आंदोलन की परवाह नहीं है।
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मंगल केवट ने बताया कि 17 सितम्बर को पीएम नरेन्द्र मोदी का जन्मदिन है और वह राजघाट पुल को पूरी तरह स्वच्छ कर पीएम मोदी को यह गिफ्ट देना चाहते है। पिछले चार साल से वह दिन-रात करके राजघाट पुल पर सफाई अभियान चला रहे हैं लेकिन इस पुल से आने-जाने वालों का उन्हें साथ नहीं मिल रहा है और वह पुल पर गंदगी फेक देते हैं जिससे नाराज होकर मंगल केवट ने सीएम योगी आदित्यनाथ से गुहार लगायी थी, जहां से उन्हें इस मामले में बनारस के नगर आयुक्त से मिलने को कहा गया था। मंगल केवट जब नगर आयुक्त से मिले तो उन्होंने पुल को नगर निगम सीमा में नहीं होने की बात कहते हुए सफाई व्यवस्था से हाथ खड़े कर दिये। इस व्यवस्था से दुखी होकर मंगल केवट ने पुल पर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गये हैं। मंगल ने बताया कि पीएम के स्वच्छता अभियान की कोई सीमा नहीं है लेकिन सफाई करने में अधिकारियों को सीमा दिख रही है। जब तक पुल पर सफाई अभियान नहीं शुरू होगा। तब तक हमारा आंदोलन जारी रहेगा।
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शुरूआत में दिखी तेजी, अब फिसड्डी साबित हो रहा बनारस
पीएम नरेन्द्र मोदी ने खुद बनारस से फावड़ा चला कर सफाई अभियान की शुरूआत की थी इसके बाद बनारस में रात में भी झाडू लगने लगा था लेकिन पिछले कुछ समय से बनारस की सफाई व्यवस्था पटरी से उतर गयी है। बनारस स्वच्छता रैंकिंग में लगातार पिछड़ता जा रहा है। सीएम योगी आदित्यनाथ भी जब बनारस दौरे पर आये थे तो सफाई व्यवस्था देख कर नाराज हुए थे और एक अधिकारी से यह तक कहा था कि जब से आप आये हैं तब से यहां की सफाई व्यवस्था बिगड़ गयी है। व्यवस्था में सुधार नहीं हुआ तो आपका तबादला नहीं निलंबन होगा।
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