31 दिसंबर 2025,

बुधवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

नागौर

video–गो सेवा के लिए पहल: गौशाला के लिए 200 बीघा गोचर भूमि में 60 ट्रेक्टरों से जुताई

रियांश्यामदास. नागौर जिले के ओलादन गांव की भक्त शिरोमणि मीरा बाई गौशाला में गायों की सेवा के लिए पहल करते हुए बुधवार को किसानों ने अपने खर्चे से 60 ट्रेक्टरों से जमीन की जुताईजु कर बाजरे की बुआई की। किसानों की ओर से निःशुल्क बुआई करने पर गौशाला के लाखों रुपए बच गए।

Google source verification

रियांश्यामदास. नागौर जिले के ओलादन गांव की भक्त शिरोमणि मीरा बाई गौशाला में गायों की सेवा के लिए पहल करते हुए बुधवार को किसानों ने अपने खर्चे से 60 ट्रेक्टरों से जमीन की जुताईजु कर बाजरे की बुआई की। किसानों की ओर से निःशुल्क बुआई करने पर गौशाला के लाखों रुपए बच गए। गायों को हरा चारा मिल सकेगा। सुबह गोचर भूमि पर ट्रेक्ट्रर ही ट्रेक्टर जमा हो गए। एक-एक कर पहुंचे सभी साधनों पर विधिवत रूप से नम्बर लगाए गए। गोचर भूमि पर 60 ट्रेक्ट्ररों के साथ जुताई शुरू हुई। करीब तीन घंटे की मेहनत के बाद दो सौ बीघा जमीन में तैंया निकाली गई। कुछ ट्रेक्ट्रर ट्रॉलियों में बाजरे का बीज लेकर जानकार किसानों ने बीज की छंटाई की। कुछ ट्रेक्ट्रर पीछे हल लेकर जुताई करते रहे, ताकि बीज उड़े नहीं। दो सौ बीघा जमीन पर नया चारागाह तैयार करने को लेकर यह बड़ी पहल की गई।

डीजे पर तेजा गायन

डीजे पर बजते तेजा गायन के साथ कतारों में चलते ट्रेक्ट्रर आकर्षक केन्द्र बने हुए थे। इस दौरान औलादन सरपंच भंवर सिंह, रामाकिशनबटेसर , पपु बटेसर, गोविंद देवासी, रामचंद्र देवासी, सुरेश पंडित ,घनश्याम सिंह, सुनील, घनश्याम वैष्णव, ओमसिंह, सहित सैकड़ों की संख्या में किसान व ग्रामीण मौजूद रहे।

– खर्चा अपना-अपना

बीज की बुवाई से भोजन तक की व्यवस्था का भार गौशाला पर नहीं पड़े इसका ध्यान रखते हुए किसान अपने ट्रेक्ट्ररों में स्वयं के पैसों से डीजल भरवाकर पहुंचे। भोजन व जलपान की व्यवस्था का जिम्मा युवाओं ने उठाया। इससे गौशाला पर कोई आर्थिक भार नहीं पड़ा।