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पेंशन बंद, घर बिका… 88 साल के आर्मी वेटरन की कहानी सुन भर आईं आंखें, फिर जो हुआ वो कमाल है

Social media changes veteran life: एक आर्मी वेटरन के संघर्ष की कहानी अब सोशल मीडिया पर वायरल हुई तो उनकी मदद के लिए सैकड़ों हाथ उठ गए।

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Army veteran working at supermarket

सोशल मीडिया पर कहानी वायरल होने के बाद लोग मदद को आगे आए हैं। (PC: AI)

Army Veteran Viral Story: एक आर्मी वेटरन को 88 साल की उम्र में काम करते देखकर लोग बहुत दुखी हुए। उनके संघर्ष की कहानी सोशल मीडिया पर वायरल हुई, तो लोगों की आंखें नम हो गईं। इसके बाद शुरू हुआ मदद का सिलसिला जो अब 1.7 मिलियन डॉलर तक पहुंच गया है। उम्मीद है कि इस रकम से उनकी बाकी की जिंदगी आराम से कट सकेगी।

पांच सालों से जारी है संघर्ष

मेट्रो यूके के अनुसार, अमेरिका के मिशिगन स्थिति एक सुपरमार्केट में 88 साल के एड बाम्बास (Ed Bambas) काम करते हैं। पिछले पांच सालों से उन्हें रोजी-रोटी के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है। एड बाम्बास ने कुछ वक्त पहले ऑस्ट्रेलियाई इन्फ्लुएंसर सैमुअल वेडेनहोफर से बातचीत में अपनी आर्थिक तंगी का जिक्र किया था। उन्होंने बताया था कि किस तरह जिंदगी उन्हें एक के बाद एक दुख देती रही। बाम्बास की कहानी सोशल मीडिया पर वायरल हो गई। इसके बाद बड़ी संख्या में लोग उनकी मदद को सामने आए और अब उन्हें जल्द ही 1.7 मिलियन डॉलर मिलने वाले हैं।

ऐसे बढ़ती चली गईं मुश्किलें

एड बाम्बास एक पूर्व सैनिक हैं, जिन्होंने लंबे समय तक जनरल मोटर्स में काम किया। 1999 में वह कंपनी से सेवानिवृत हुए। यहां तक उनके लिए सबकुछ ठीक था। 2012 में कंपनी दिवालिया हुई और उन्हें मिलने वाली पेंशन बंद हो गई। हालात तब बद से बदतर हो गए जब उनकी पत्नी गंभीर बीमारी की चपेट में आ गईं। पेंशन और हेल्थ कवरेज न होने के चलते इस पूर्व सैनिक को पत्नी के इलाज के लिए घर और दूसरी प्रॉपर्टी बेचनी पड़ी। पत्नी का लंबे समय तक इलाज चला, लेकिन वह बच नहीं पाईं।

हर रोज 8 घंटे करते हैं काम

रोजी-रोटी का इंतजाम करने के लिए एड बाम्बास ने मिशिगन के एक सुपरमार्केट में नौकरी शुरू कर दी। वहां उन्हें सप्ताह में पांच दिन और प्रति दिन 8 घंटे काम करना पड़ता है। पिछले पांच सालों से उनका यही रूटीन है। बाम्बास ने बताया कि पत्नी के इलाज के लिए उन्हें अपना सबकुछ बेचना पड़ा। करीब सात साल पहले उनकी पत्नी का निधन हो गया। तब से वह लगातार काम कर रहे हैं। आर्मी वेटरन की कहानी सुनने के बाद ऑस्ट्रेलियाई इन्फ्लुएंसर सैमुअल वेडेनहोफर ने उनकी मदद के लिए गोफंडमी (GoFundMe) कैम्पैन लॉन्च किया, जिसमें लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।

अब बदल जाएगी जिंदगी

इन्फ्लुएंसर सैमुअल ने हाल ही में बताया कि महज 36 घंटों में 1 मिलियन डॉलर से अधिक की रकम जुटा ली गई थी और जल्द ही एड बाम्बास को सौंपा जाएगा। सैमुअल को उम्मीद है कि इस रकम से आर्मी वेटरन की बाकी लाइफ अच्छे से गुजर सकेगी। इस कहानी ने एक बार फिर से सोशल मीडिया की ताकत को साबित किया है। इन्फ्लुएंसर सैमुअल के वीडियो को कुछ ही वक्त में 9.3 मिलियन से ज़्यादा बार देखा गया और 279,000 से अधिक लाइक आए।