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दुनिया की सबसे लंबी हाई-स्पीड अंडरवॉटर ट्रेन: समंदर के नीचे हवाई जहाज की गति से मिनटों में जुड़ेंगे दो आईलैंड

Underwater High-Speed Train: दुनिया भर के इंजीनियर अब समंदर के नीचे एक रोमांचक हाई-स्पीड ट्रेन बनाने पर काम कर रहे हैं।

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भारत

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MI Zahir

Dec 11, 2025

Underwater High-Speed Train

सबसे लंबी हाई-स्पीड अंडरवॉटर ट्रेन। (AI Generated Symbolic Photo)

Underwater High-Speed Train: दुनिया भर के इंजीनियर एक ऐसी रोमांचक और नायाब ट्रेन बनाने की योजना पर काम कर रहे हैं जो समंदर के नीचे हवाई जहाज़ जैसी हाई-स्पीड (High-Speed Transport) से चलेगी। यह ट्रेन एक ऐसी परिवहन प्रणाली का हिस्सा बनने वाली है, जो दो महाद्वीपों को कुछ ही मिनटों में आपस में जोड़ देगी। अंडरवॉटर ट्रेन (Underwater Train) की यह परियोजना अब एक दूर के ख्वाब से अधिक हकीकत की ओर बढ़ रही है, और इसके लिए कई देशों और कंपनियों ने मिलजुल कर काम करना शुरू कर दिया है।सोचिए कि आप समंदर के नीचे (Fast Travel), बिना किसी रुकावट के हाई-स्पीड ट्रेन(Underwater High-Speed Train) से सफर कर रहे हैं। यह कोई फिल्मी आइडिया नहीं है, बल्कि एक वास्तविक परियोजना है, जो अब तेजी से आकार ले रही है। यह ट्रेन समंदर किनारे के ठीक नीचे एक सुरंग (Underwater Tunnel) में चलेगी, जहां यात्रियों को समंदर के दबाव और तापमान से कोई फर्क नहीं पड़ेगा।

यह हाई-स्पीड सिस्टम कैसे काम करेगा ?

यह नया ट्रेन सिस्टम पूरी तरह से बिजली से चलेगा और इसमें हाई-स्पीड ट्रेनों की तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा, जैसे जापान की शिंकानसेन और फ्रांस के टीजीवी की तकनीक काम करती है। यह ट्रेन 300-400 किमी/घंटा की गति से चलेगी, जो हवाई जहाज़ की गति के बराबर होगी, लेकिन इसका सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि ट्रेन सीधे समुद्र के रास्ते पर चलेगी, जहां उड़ान भरने और उतरने जैसी समस्याएं नहीं होंगी।

अंडरवॉटर ट्रेन का रास्ता लगभग सीधा होगा (Underwater Rail System)

आम तौर पर यात्रियों को विमान में जेट गति के साथ परेशानी होती है, जैसे उड़ान के समय में लगातार देरी, ऊंची-नीची यात्रा, और लंबी सुरक्षा प्रक्रियाएं। इसके मुकाबले, अंडरवॉटर ट्रेन का रास्ता लगभग सीधा होगा और यह बिना किसी रुकावट के सफर तय करेगी।

सुरक्षा और आराम की नई मिसाल

इस हाई-स्पीड ट्रेन में सफर करना बहुत आरामदायक होगा। यह ट्रेन समुद्र तल से करीब तीन सौ मीटर नीचे चलेगी, जहां यात्रियों को समुद्र के दबाव से बचाया जाएगा। इसका स्वचालित सिस्टम पर्यावरणीय चुनौतियों से बचाव करेगा।

समंदर की गहराई पता नहीं चलेगी

इस ट्रेन में यात्री आराम से बैठ सकेंगे, और उन्हें समुद्र की गहराई का कोई एहसास नहीं होगा, क्योंकि पूरी ट्रेन को सील-बंद किया जाएगा और वहां का तापमान और नमी नियंत्रित की जाएगी।

इस परियोजना का भविष्य और प्रतिक्रियाएं

यह परियोजना दुनियाभर में चर्चा का विषय बन चुकी है। सोशल मीडिया और इंटरनेट पर लोग इस विचार पर प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं। कुछ लोगों का कहना है कि यह एक अनूठा और रोमांचक विचार है, जबकि कुछ इसे बेहद महंगा और जोखिम भरा बता रहे हैं। इसके बावजूद, अधिकतर लोग इसे भविष्य की यात्रा के तौर पर देखने लगे हैं, क्योंकि इससे न केवल समय की बचत होगी, बल्कि पर्यावरण पर भी सकारात्मक असर पड़ सकता है।

यात्रा के बारे में हमारा नजरिया बदल सकती है यह ट्रेन

विशेषज्ञों का मानना है कि यह परियोजना पहले से ही ट्रांसपोर्टेशन और यात्रा के बारे में हमारा नजरिया बदल सकती है। बस, एक बार यह ट्रेन पूरी तरह से तैयार हो जाए, तो यह दुनिया के सबसे तेज़ और सबसे अनोखे यात्रा साधनों में से एक होगी।

क्या आने वाले समय में यह परियोजना पूरी हो पाएगी ?

इस परियोजना को लेकर कई बड़े सवाल हवा में तैर रहे हैं। क्या इसे व्यावहारिक रूप से लागू किया जा सकता है? इस पर अभी और काम करने की जरूरत है, लेकिन वर्तमान में जो विकास हो रहा है, उसे देख कर कहा जा सकता है कि यह सपना कुछ ही बरसों में हकीकत में बदल सकता है। वहीं, इस परियोजना के माध्यम से विकसित की जाने वाली तकनीक से भविष्य में हाई-स्पीड यात्रा को पूरी दुनिया में बढ़ावा मिल सकता है।

क्या हाई-स्पीड ट्रेन से एयरलाइंस को चुनौती मिल सकती है ?

बहरहाल, यह सवाल भी उठा है कि अगर यह परियोजना सफल हो जाती है, तो क्या हवाई यात्रा के क्षेत्र में एक नई चुनौती पैदा हो सकती है। हाई-स्पीड अंडरवाटर ट्रेनें, जो महाद्वीपों के बीच कम समय में यात्रा करने का विकल्प देती हैं, क्या वे वाणिज्यिक उड़ानों के लिए एक नया प्रतिस्पर्धी बाजार तैयार करेंगी?