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“गरीब लोग गंदे होते हैं”, नोटिस से खड़ा हुआ बवाल

साउथ कोरिया में एक स्विमिंग पूल में लगाए गए नोटिस से बवाल मच गया है। क्या है पूरा मामला? आइए जानते हैं।

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भारत

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Tanay Mishra

Jun 23, 2025

Swimming pool

Swimming pool (Representational Photo)

सोशल मीडिया (Social Media) के इस दौर में अक्सर ही ऐसी चीज़ें देखने को मिलती हैं जिससे काफी बवाल हो जाता है। कोई फोटो हो, या वीडियो या फिर कोई बयान, सोशल मीडिया पर आते हैं उस पर लोग अलग-अलग तरह की प्रतिक्रियाएं देने लगते हैं। विवादित फोटो, वीडियो और बयान तो अक्सर ही बवाल की वजह बन जाते हैं। ऐसा ही कुछ साउथ कोरिया (South Korea) में देखने को मिला है। स्विमिंग पूल में लगे एक नोटिस ने बवाल मचा दिया।

नोटिस ने गरीब लोगों को बताया गंदा

साउथ कोरिया के ग्योंगगी (Gyeonggi) प्रांत के एक स्विमिंग पूल में लगाए गए एक नोटिस ने सोशल मीडिया पर जबरदस्त विरोध और बवाल को जन्म दे दिया है। एक स्विमिंग पूल में यूज़र्स के लिए बनाए गए चार नियम दिखाए गए हैं। इनमें से एक नियम ने खासकर लोगों को बुरी तरह आहत किया, जिसमें यह दावा किया गया कि "पूल के पानी की गंदगी आपकी आय का स्तर दर्शाती है। रिसर्च बताती है कि जिनकी आमदनी कम होती है, वो कम साफ-सुथरे होते हैं।" इससे साफ है कि यहाँ गरीब लोगों को गंदा बताया जा रहा है।

सोशल मीडिया यूज़र्स ने सोच पर उठाए सवाल

स्विमिंग पूल के लिए बनाए गए इस नियम पर सोशल मीडिया यूज़र्स सवाल उठा रहे हैं और कह रहे हैं कि यह उस सोच की बानगी है जो गरीब को गंदा और अमीर को साफ मान बैठी है। यह पूरी तरह से गलत है।

सोशल मीडिया पर विरोध की लहर

स्विमिंग पूल प्रबंधन की ओर से अब तक इस बयान को लेकर कोई सफाई नहीं दी गई है, लेकिन सोशल मीडिया पर विरोध की लहर तेज़ है। सोशल मीडिया यूज़र्स का कहना है कि इस तरह का बयान सीधे-सीधे 'हाइजीन शेमिंग' है और समाज में फैले वर्गभेद का नया रूप है। साफ-सफाई का स्तर आमदनी से नहीं, आपकी सोच और आदतों से तय होता है। सार्वजनिक स्थानों पर इस तरह के वर्गवादी संदेश लिखे जाते हैं, तो बात सिर्फ गंदे पानी की नहीं, बल्कि गंदी मानसिकता की होती है।


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