
हांगकांग में पत्रकार को बेड़ियों में बांधकर सरेआम घुमाने का मामला। (फोटो- IANS)
हांगकांग में ब्रिटिश नागरिक और पत्रकार जिमी लाई को नेशनल सिक्योरिटी कानून के तहत दोषी ठहराया गया है। इसको लेकर दुनिया भर में बवाल मच गया है।
एक तरफ अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से लाई को तुरंत रिहा करने का आग्रह किया है। वहीं दूसरी और, ब्रिटेन की सांसद प्रीति पटेल ने इस कार्रवाई को शर्मनाक बताया है।
जिमी लाई हांगकांग के पूर्व मीडिया टाइकून हैं, जो अब बंद हो चुके एप्पल डेली अखबार के फाउंडर थे। हांगकांग के फैसले की प्रेस फ्रीडम ग्रुप्स और पश्चिमी सरकारों ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर काफी आलोचना की है।
पटेल ने संसद में कहा- जिमी लाई को जेल में डालना, उन पर मुकदमा चलाना और उन्हें सजा देना हांगकांग में आजादी, डेमोक्रेसी और कानून के राज को खत्म करने की चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की शर्मनाक कोशिशों को दर्शाता है। ये चीन-ब्रिटिश जॉइंट डिक्लेरेशन का और भी गंभीर उल्लंघन हैं।
प्रीति ने कहा कि 78 साल के जिमी को जंजीरों में बांधकर घुमाया गया, यह सीन काफी परेशान करने वाले थे, लेकिन उनका विरोध उन लोगों के लिए उम्मीद की किरण है जो अब भी आजादी, डेमोक्रेसी और ह्यूमन राइट्स में विश्वास करते हैं।
पटेल ने कहा कि उन्हें रिहा किया जाना चाहिए और यूनाइटेड किंगडम में अपने परिवार के साथ रहने की इजाजत दी जानी चाहिए।
उन्होंने आगे कहा- लाई ने इतने दर्द और तकलीफ झेले, चीनी कम्युनिस्ट पार्टी का जुल्म सहा, 1,800 से ज्यादा दिनों तक अकेले कैद में रहे, जिससे उनकी सेहत बिगड़ गई, इन सब के बावजूद जिमी का हौसला टूटा नहीं है।
ब्रिटिश सांसद ने कहा- पिछले कुछ सालों में लाई के बेटे सेबेस्टियन, उनके परिवार और सपोर्टर्स ने उनकी आजादी के लिए और उनके साथ हुए बुरे बर्ताव के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए कड़ी लड़ाई लड़ी है।
पटेल ने जोर देकर कहा कि जिमी लाई की तुरंत रिहाई ब्रिटेन में कीर स्टारमर की सरकार के लिए प्राथमिकता होनी चाहिए। इसके साथ यह भी कहा कि यह मामला ब्रिटेन-चीन रिश्तों के साथ बड़े मुद्दे भी उठाता है।
उन्होंने पूछा- चीन सरकार जिमी लाई को जेल में डाल रही है और हांगकांग में आजादी को कमजोर कर रही है, तो क्या ऐसे में जब लाई को रिहा नहीं किया जाता तब तक हमारे विदेश मंत्री और प्रधानमंत्री जनवरी में अपने चीन दौरे को कैंसिल करेंगे? क्या अन्य तरह से भी वे चीन को हमारी नाराजगी का संकेत देंगे?
Updated on:
16 Dec 2025 03:05 pm
Published on:
16 Dec 2025 01:23 pm
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