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Sawan Start Date 10 or 11 July : सावन का महीना 10 जुलाई से शुरू होगा या 11 जुलाई से? अगर कन्फ्यूजन है तो जानिए सही तारीख

Sawan Start Date 10 or 11 July : आषाढ़ पूर्णिमा के बाद शिव भक्तों का इंतजार खत्म। सावन 2025 बस आने ही वाला है। अगर आपको भी सावन की शुरुआत की सही तारीख और भोलेनाथ को प्रसन्न करने के तरीकों को लेकर थोड़ी भी खुसर-पुसर सुननी है, तो जान लीजिए सबसे ताजा अपडेट।

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भारत

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Manoj Vashisth

Jul 07, 2025

Sawan Start Date 10 or 11 July

Sawan Start Date 10 or 11 July : सावन का महीना 10 जुलाई से शुरू होगा या 11 जुलाई से? अगर कन्फ्यूजन है तो जानिए सही तारीख (फोटो सोर्स: AI image@Gemini)

Sawan Start Date 10 or 11 July : आखिर वो घड़ी आ ही गई जिसका सबको बेसब्री से इंतजार था। आषाढ़ की पूर्णिमा के बाद अब सावन 2025 दरवाजे पर दस्तक देने वाला है। सावन का महीना जो शिव भक्तों के लिए किसी त्योहार से कम नहीं। चारों तरफ हरियाली, मंदिरों में घंटियों की गूंज, और शिव के नाम का जादू… सच में माहौल ही अलग हो जाता है। अगर आपको भी खुसर-पुसर सुननी है कि इस साल सावन कब से शुरू हो रहा है या फिर कौन-कौन सी चीजें करनी चाहिए ताकि भोलेनाथ खुश हो जाएं, तो बस यही रहा आपके लिए एकदम ताजा अपडेट।

Sawan Start Date 10 or 11 July : कब से शुरू हो रहा है सावन 2025? जानें सही तारीख

कई लोगों के मन में दुविधा है कि सावन 10 जुलाई से शुरू होगा (Sawan Start Date 10 or 11 July) या 11 जुलाई से तो आपकी जानकारी के लिए बता दें कि वैदिक पंचांग के अनुसार, आषाढ़ पूर्णिमा 10 जुलाई को मनाई जाएगी। इसके ठीक अगले दिन यानी 11 जुलाई 2025 शुक्रवार से सावन का महीना शुरू हो रहा है। आषाढ़ पूर्णिमा तिथि 11 जुलाई की देर रात 02 बजकर 06 मिनट पर शुरू होगी और 12 जुलाई की देर रात 02 बजकर 08 मिनट पर समाप्त होगी। इसलिए 11 जुलाई से ही सावन महीने का आगाज होगा। यह महीना 9 अगस्त 2025 शनिवार को समाप्त होगा। हालांकि ध्यान रखें कि कुछ राज्यों में सावन की शुरुआत और समापन की तारीखें थोड़ी अलग हो सकती हैं।

सावन के सोमवार और मंगला गौरी व्रत: मिलेगा दोगुना फल (Sawan Somwar 2025 list)

सावन का महीना वैसे तो पूरा ही शुभ होता है लेकिन इस दौरान पड़ने वाले सोमवार और मंगलवार का विशेष महत्व है।

सावन सोमवार व्रत:

इस महीने के सभी सोमवार भगवान शिव को समर्पित होते हैं। शिव भक्त सुख-शांति और मनोकामना पूर्ति के लिए इन सोमवार को व्रत रखते हैं, जिन्हें सावन सोमवार व्रत कहा जाता है। कई लोग तो सावन के पहले सोमवार से सोलह सोमवार व्रत की शुरुआत भी करते हैं।

पहला सोमवार व्रत: 14 जुलाई 2025

दूसरा सोमवार व्रत: 21 जुलाई 2025

तीसरा सोमवार व्रत: 28 जुलाई 2025

चौथा सोमवार व्रत: 04 अगस्त 2025

मंगला गौरी व्रत: (Mangla Gauri Vrat 2025 Dates)

सावन के महीने में पड़ने वाले सभी मंगलवार भगवान शिव की अर्धांगिनी देवी पार्वती को समर्पित होते हैं। इन दिनों व्रत रखने से वैवाहिक जीवन की बाधाएं दूर होती हैं और सुख-समृद्धि आती है। इसे मंगला गौरी व्रत के नाम से जाना जाता है।

पहला मंगला गौरी व्रत: 15 जुलाई 2025

दूसरा मंगला गौरी व्रत: 22 जुलाई 2025

तीसरा मंगला गौरी व्रत: 29 जुलाई 2025

चौथा मंगला गौरी व्रत: 05 अगस्त 2025

सावन में क्या करें खास?

भोलेनाथ को प्रसन्न करने के लिए सावन के महीने में कुछ खास बातों का ध्यान रखना चाहिए:

नियमित पूजा-अर्चना: सावन भर रोजाना भगवान शिव की पूजा करें।

अभिषेक: शिवलिंग पर गंगाजल, शहद, जल, बेलपत्र, कच्चा दूध और सफेद फूल आदि से अभिषेक करें। कहते हैं कि सावन में शिव जी को ये चीजें अर्पित करने से वे शीघ्र प्रसन्न होते हैं।

मंत्र जाप और चालीसा पाठ: पूजा के दौरान 'ॐ नमः शिवाय' जैसे शिव मंत्रों का जाप करें और शिव चालीसा का पाठ करें।

दान-पुण्य: अपनी श्रद्धा अनुसार अन्न और धन का दान करें। जरूरतमंदों की मदद करना भी इस दौरान बहुत शुभ माना जाता है।

पंचांग के शुभ मुहूर्त: पूजा-पाठ के लिए आप पंचांग में दिए गए शुभ मुहूर्तों का ध्यान रख सकते हैं:

ब्रह्म मुहूर्त: सुबह 04 बजकर 10 मिनट से 04 बजकर 51 मिनट तक

विजय मुहूर्त: दोपहर 02 बजकर 45 मिनट से 03 बजकर 40 मिनट तक

गोधूलि मुहूर्त: शाम 07 बजकर 21 मिनट से 07 बजकर 41 मिनट तक

अमृत काल: रात 12 बजकर 01 मिनट से 01 बजकर 40 मिनट तक

सूर्योदय: सुबह 05 बजकर 31 मिनट पर

सूर्यास्त: शाम 07 बजकर 22 मिनट पर

चन्द्रोदय: रात 08 बजकर 05 मिनट पर

चंद्रास्त: सुबह 05 बजकर 35 मिनट पर

सावन का महत्व:

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार सावन मास में भगवान शिव माता पार्वती के साथ धरती पर वास करते हैं और भक्तों की प्रार्थना सुनते हैं। कहा जाता है कि इस दौरान शिव जी की सच्चे मन से पूजा करने वाले भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं वैवाहिक जीवन में खुशहाली आती है और संतान प्राप्ति के योग भी बनते हैं। इस पवित्र महीने में वातावरण में एक अलग ही सकारात्मक ऊर्जा महसूस होती है।