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बच्चों की फीस के नहीं थे पैसे, मंथली देता तो कैसे!

locationअजमेरPublished: Mar 06, 2020 01:39:54 am

Submitted by:

manish Singh

अजमेर(Ajmer News). बजरंगगढ़ चौराहा पर सोड़ा वाटर का ठेला लगाकर गुजर-बसर चलाने वाले कमलेश सिंधी ने भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो में अपनी व्यथा सुनाई कि वह सुभाष उद्यान के गेट नम्बर 2 पर सोडा वाटर का ठेला लगाकर अपने परिवार का बसर कर रहा था। लेकिन नगर निगम की राजस्व अधिकारी रेखा जैसवानी ने चार माह पहले उसका ठेला हटाने की धमकी देते हुए पांच हजार रुपए की मंथली देने का दबाव बनाया।

बच्चों की फीस के नहीं थे पैसे, मंथली देता तो कैसे!

बच्चों की फीस के नहीं थे पैसे, मंथली देता तो कैसे!

जैसवानी ने चार माह पहले उसका ठेला हटाने की धमकी देते हुए पांच हजार रुपए की मंथली देने का दबाव बनाया।उसने पहले माह में पांच हजार दे दिए लेकिन दूसरे माह में उसकी हालत खस्ता हो गई। उसने मिन्नतें की तो जैसवानी ने तीन हजार रुपए मंथली पर राजी हो गई। वह जेसवानी को हर महीने तीन हजार रुपए देने जाता था। उसके बच्चे प्राइवेट स्कूल में पढ़ते हैं जिनकी वह फीस भी नहीं भर पा रहा था। लेकिन जैसवानी को हर महीने 1 से 3 तारीख तक मंथली चाहिए होती थी। मंथली नहीं पहुंचने पर जैसवानी ठेला जब्त करने की धमकी तक दे दी जाती थी।
और भी आ सकते हैं पीडि़त सामने

एसीबी की प्रारंभिक पड़ताल में जैसवानी पर शहर के सड़क, चौराहों पर खड़े होने वाले ठेले, रिक्शा चालकों से मंथली लेने के आरोप सामने आए। एसीबी को प्रकरण में कमलेश के सामने आने के बाद शहर में कई और भी पीडि़त सामने आने की संभावना है।
कार्रवाई का विरोध तो थाने लाए

जैसवानी ने कार्रवाई का विरोध शुरू किया तो एसीबी टीम उसे लेकर क्रिश्चियन गंज थाने पहुंच गई। थाने के अनुसंधान कक्ष में जैसवानी की ट्रेप की कार्रवाई की गई। हालांकि जैसवानी कार्रवाई के दौरान एक बात कहती रही कि रिश्वत की रकम उससे बरामद नहीं की गई।
देर रात तक बंगले पर कार्रवाई

एसीबी की दूसरी टीम जैसवानी के पंचशील नगर बी ब्लॉक 4-209 स्थित आवास पर देर रात तक चल-अचल सम्पति का आकलन करने में जुटी रही।

कांग्रेसी नेता से उलझने पर चर्चा
पुष्कर रोड स्थित लालगढिय़ा पैलेस समारोह स्थल को सीज करने की कार्रवाई के दौरान कांग्रेस शहर सचिव रवि शर्मा से विवाद के बाद निगम की राजस्व अधिकारी रेखा जैसवानी चर्चा में आई। मामले में संविदा पर कार्यरत सत्यनारायण बोहरा ने कांग्रेस नेता पर जैसवानी के साथ बदसलूकी का आरोप लगाते हुए गंज थाने में मुकदमा दर्ज करवाया था। वहीं शर्मा ने भी गंज थाना पुलिस को जैसवानी पर धमकाने का आरोप लगाते हुए शिकायत दी। इसके बाद जैसवानी को राज्य सरकार ने एपीओ करते हुए तुरन्त प्रभाव से मुख्यालय डीएलबी निदेशालय में जॉइनिंग करने के आदेश दिए थे लेकिन सात दिन बाद भी रिलीव नहीं किया गया था।
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