27 दिसंबर 2025,

शनिवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

पत्रिका स्टिंग : डायग्नोस्टिक सेंटर्स पर जांच के नाम पर यूं चल रहा गोरखधंधा , मरीजों से लूट रहे यूं पैसे

www.patrika.com/ajmer-news

2 min read
Google source verification
patrika sting : diagnostic centres taking extra money from patients

पत्रिका स्टिंग : डायग्नोस्टिक सेंटर्स पर जांच के नाम पर यूं चल रहा गोरखधंधा , मरीजों से लूट रहे यूं पैसे

चंद्रप्रकाश जोशी. अजमेर. एक तरफ डेंगू का मच्छर डंक मार कर मरीजों की सांसों में अवरोध बन रहा है, शरीर में प्लेटरेट्स का दम घोंट रहा है वहीं डायग्नोस्टिक सेन्टरों पर मरीजों की जेब पर कैंची चलाई जा रही है। डेंगू जांच के लिए चेहरा देख कर तिलक लगाया जा रहा है। डेंगू की कार्ड टेस्ट जांच में ही कुछ सेन्टरों में 300 से 350 रुपए का अंतर आ रहा है।

डेंगू की जांच कहीं 500 में तो कहीं 850 रुपए में की जा रही है। अगर एलाइजा से डेंगू जांच करवानी है तो इसके कहीं 1400 रुपए तो कहीं 1600 रुपए बताए जा रहे हैं। इसकी वजह है कि राज्य एवं केन्द्र सरकार की ओर से निजी लैब (डायग्नोस्टिक) सेन्टर्स पर डेंगू जांच की कोई रेट तय नहीं है। न ही किसी तरह का नियंत्रण है। राजस्थान पत्रिका ने बुधवार को करीब सात-आठ लैब सेन्टर पर डेंगू जांच की रेट की पड़ताल की -

100 मीटर के दायरे में तीन रेट

जेएलएन अस्पताल के सामने स्थित डायग्नोस्टिक सेन्टर्स पर डमी मरीज को लेकर डेंगू की रेट मालूम की तो 100 रुपए तक का अंतर आया। दायीं छोर के सेन्टर पर डेंगू की जांच 800 रुपए, इसी के पास 700 रुपए एवं बायीं छोर के सेन्टर पर 850 रुपए में डेंगू जांच होना बताया। जब एलाइजा टेस्ट से जांच की बात की तो एक ने 1600 रुपए तो अन्य ने 1450 रुपए बताई।

यहां 300 रुपए का अंतर :

बजरंगगढ़ से सावित्री चौराहे मार्ग पर पहले डायग्नोस्टिक सेन्टर नर्सिंग होम पर डेंगू की जांच 800 रुपए में बताई तो इससे आगे नगीना बाग के सामने एक सेन्टर पर 500 रुपए में डेंगू की जांच बताई।

इधर 700 रुपए में जांच :
वैशालीनगर स्थित एक निजी लैब पर डेंगू की जांच करवाने पहुंचे तो स्टाफ ने बताया कि यहां 700 रुपए में जांच की जाती है। रेट नियंत्रण का नहीं कोई अधिकार :

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की ओर से भी रेट नियंत्रण को लेकर लाचारी दर्शाई जा रही है। निजी लैब सेन्टरों पर डेंगू टेस्ट की अलग-अलग रेटों पर किसी तरह का कोई नियंत्रण नहीं है। इसके चलते गरीब व जरूरतमंद मरीज जांच नहीं करवा पा रहे हैं।

प्राइवेट सेन्टर पर डेंगू जांच की रेट पर विभाग का कोई नियंत्रण नहीं है। सरकार की ओर से कोई रेट तय नहीं कर रखी है, इसके चलते अपनी सुविधाओं के अनुसार रेट वसूल रहे हैं। अगर कोई शिकायत मिलती है तो कार्रवाई की जाएगी।

-डॉ.के.के.सोनी, सीएमएचओ


आंकड़ों में उलझा विभाग, अब तक 98 पॉजीटिवडेंगू के फैक्ट आंकड़ों में विभाग उलझा हुआ है। बुधवार तक एलाइजा किट टेस्ट से डेंगू के पॉजीटिव मरीज 98 बताए गए। जबकि एक-दो अधिकारी इन आंकड़ों पर चुप्पी साधे हुए हैं। जबकि कार्ड टेस्ट से डेंगू मरीजों की संख्या जिलेभर में करीब 2000 तक है मगर विभागीय अधिकारियों के निर्देश पर इन आंकड़ों को उजागर नहीं किया जा रहा है।

मेडिकल कॉलेज में जांच ठप :

सरकारी स्तर पर मेडिकल कॉलेज में डेंगू की जांच पिछले कई दिनों से ठप है। यहां एलाइजा रीडर में तकनीकी खामी से जांच नहीं की जा रही है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग को बुधवार को भी यहां से कोई रिपोर्ट नहीं मिल पाई।