
Rajasthan Weather: ग्लोबल वार्मिंग का मौसम पर असर नजर आने लगा है। राजस्थान में जून तक लगातार मौसम में बदलाव देखने को मिलेगा। मार्च में तापमान में बढ़ोतरी का दौर जारी है। अप्रेल से जून तक तेज गर्मी की संभावना है। हालांकि, ला-नीना की वजह से प्रदेश में अगले तीन महीने तक मौसम का मिजाज बदलेगा। पश्चिमी विक्षोभ में होने वाली उथल-पुथल से प्रदेश में कहीं बारिश तो कहीं ओले गिरने की संभावना है।
साल 2025 की शुरुआत से ग्लोबल वार्मिंग का मौसम पर असर दिख रहा है। इस बार हिमालय क्षेत्र में बर्फबारी भी देरी से हुई है। मौसम विशेषज्ञों के अनुसार प्रशांत महासागर में ला-नीना की गति सामान्य होने से मौसम प्रभावित होगा। पश्चिमी विक्षोभ में होने वाली उथल-पुथल से अप्रेल से जून के मध्य बेमौसम बरसात, ओलावृष्टि होने की संभावना है। इस दौरान तापमान में भी उतार-चढ़ाव बना रहेगा।
बीते साल मानसून के दौरान अजमेर जिले में 625 और शहर में 858.3 मिलीमीटर बरसात हुई थी। 2019 के बाद शहर और जिले में 550 मिलीमीटर बरसात का औसत आंकड़ा पूरा हुआ था। सिंचाई विभाग जयपुर रोड और मौसम विभाग रामगंज में है। दोनों विभाग शहर की बरसात का रिकॉर्ड करते हैं। दोनों के वर्षा मापी यंत्र अलग-अगल क्षेत्रों में हैं। ऐसे में दोनों के आंकड़ों में फर्क होता है। ऐसे में कुछ विसंगति भी बनी रहती है।
दक्षिण कोरिया के एपेक जलवायु केंद्र ने इस साल देश में सामान्य दक्षिण-पश्चिम मानसून का अनुमान लगाया है। ला-नीना के साथ अलनीना इस बार के मानसून पर कोई खास प्रभाव नहीं डालेगा। मानसून मुख्यत: जून से सितंबर तक सक्रिय रहेगा। पूर्वानुमान में मानसून के सामान्य रहने का आकलन है। हालांकि, देश में मौसम विज्ञान विभाग अप्रेल अंत अथवा मई के मध्य मानसून का पूर्वानुमान जारी करेगा।
Published on:
23 Mar 2025 12:40 pm
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