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ये क्या? जिन लोगों ने की अधिकारियों से शिकायत, उन्हीं पर कर दिया केस

MP News: मरघट की जमीन को लेकर विवाद गहराया, आरोप निजी जमीन को मरघट बताकर अधिकारियों को दिया फर्जी आवेदन। पुलिस ने सात लोगों पर धोखाधड़ी सहित कई धाराओं में केस दर्ज किया।

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फार्मेसी कोर्स के नाम पर 4.8 लाख की ठगी, फर्जी डिग्री थमाने वाले भिलाई के युवक पर FIR दर्ज...(photo-patrika)

फार्मेसी कोर्स के नाम पर 4.8 लाख की ठगी, फर्जी डिग्री थमाने वाले भिलाई के युवक पर FIR दर्ज...(photo-patrika)

Cremation Land Fraud Case:अशोकनगर में मरघट की जमीन मामले में नया मोड़ आ गया। एक व्यक्ति ने आरोप लगाया कि मेरे नाम से कुछ लोगों ने अधिकारियों को निजी जमीन को मरघट की जमीन बताकर शिकायत की है। इससे पुलिस ने मरघट की जमीन की मांग कर रहे सात लोगों के लोगों के कब्जे से मुक्त कराने खिलाफ धोखाधड़ी सहित कई धाराओं में एफआइआर दर्ज कर ली है। (MP News)

इन पर दर्ज हुआ मामला

मामला नईसराय तहसील के आमखेड़ा नईसराय गांव की सर्वे क्रमांक 244 का है। खच्चू पुत्र लालजीराम कुशवाह ने 22 सितंबर को नईसराय थाने में शिकायत की कि यह जमीन वर्ष 1964 से उसके दादा जवाहर कुशवाह के नाम दर्ज है। जो दादा की मृत्यु पर मेरे पिता लालजीराम कुशवाह के नाम हुई और पिता की मृत्यु के बाद मेरे व मेरी बहिन श्यामबाई व सखियाबाई के नाम दर्ज है। डुंगासरा निवासी लखन कुशवाह व नईसराय निवासी आशाराम कुशवाह, मुन्ना रजक, दिलीप कुशवाह, नारायण रजक, संतराम कुशवाह और कोमल कुशवाह ने इस जमीन को बेचने के लिए कहा।

खच्चू कुशवाह का आरोप है कि जब इस जमीन को बेचने से मना किया तो इन लोगों ने मेरे नाम से फर्जी हस्ताक्षर कर कलेक्टर व एसडीएम को आवेदन दिया और कहा कि यह जमीन मरघट की है। इससे पुलिस ने खच्चू कुशवाह की शिकायत पर इन सात लोगों के खिलाफ एफआइआर दर्ज कर ली है। (MP News)

शिकायतकर्ताओं ने पुलिस पर लगाया था दबाव का आरोप

खास बात यह है कि जिन लोगों पर एफआइआर हुई है, उन लोगों ने कुछ दिन पहले ही कलेक्टर से मामले की शिकायत कर कहा था कि आमखेड़ा नईसराय की यह जमीन सर्वे नंबर 244 मरघट की है, जिसे पूर्व पटवारी केशसिंह कुशवाह ने अपने परिवार के लोगों के रेकॉर्ड में दर्ज कर ली और अब कब्जा कर लिया है। साथ ही शिकायतकर्ताओं ने मिसल बंदोवस्त की जमीन की नकल की प्रति भी दी थी, जिसमें यह जमीन मरघट के नाम दर्ज है।

साथ ही आरोप लगाया था कि पुलिस शिकायत व कोर्ट में लगाए गए दावा को वापस लेने का दबाव बना रही है और झूठे आरोप में फंसाने की धमकी दे रही है। लेकिन इस मामले में जमीन की जांच व कोर्ट का निर्णय होने से पहले ही एफआइआर होने से मामले में सवाल उठ रहे हैं। (MP News)