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चीन ने अमरीका पर बोला जवाबी हमला, अपने चार अधिकारियों पर कार्रवाई का किया विरोध

अमरीका की ओर से उक्त गलत कार्रवाइयों के जवाब में चीन ने चीन के विदेश-विरोधी प्रतिबंध कानून के अनुसार पारस्परिक जवाबी कार्रवाई करने का निर्णय लिया है। इन अधिकारियों ने अमरीका के आंतरिक कानून के अनुसार शिनच्यांग में कथित रूप से मानव अधिकारों का उल्लंघन किया था।

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चीनी विदेश मंत्रालय की ओर से बयान जारी कर बताया गया है कि 10 दिसंबर को अमरीकी विदेश मंत्रालय और वित्त मंत्रालय ने घोषणा की है कि वे चार चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाएंगे। दावा किया जा रहा है कि इन अधिकारियों ने अमरीका के आंतरिक कानून के अनुसार शिनच्यांग में कथित रूप से मानव अधिकारों का उल्लंघन किया था। अमरीका के इस कदम के बाद पर चीन के विदेश मंत्रालय ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि अमरीका ने घरेलू कानून के अनुसार शिनच्यांग में तथाकथित मानवाधिकार मुद्दे के बहाने, चीनी अधिकारियों पर अवैध प्रतिबंध लगाया। संबंधित हरकत ने चीन के आंतरिक मामलों में गंभीरता से हस्तक्षेप किया, अंतरराष्ट्रीय संबंधों के बुनियादी मानदंडों का गंभीर उल्लंघन किया और चीन-अमरीका संबंधों को गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त कर दिया। चीन इसका कड़ा विरोध करता है और इसकी कड़ी निंदा करता है।

प्रवक्ता ने यह भी घोषणा की है कि अमरीका की ओर से उक्त गलत कार्रवाइयों के जवाब में चीन ने चीन के विदेश-विरोधी प्रतिबंध कानून के अनुसार पारस्परिक जवाबी कार्रवाई करने का निर्णय लिया है। अब से अमरीका की अंतर्राष्ट्रीय धार्मिक स्वतंत्रता समिति के अध्यक्ष मांजा, उपाध्यक्ष तुर्कर, आयुक्त बरगावा, और आयुक्त कार्ल के विरुद्ध संबंधित जवाबी कार्रवाई को लागू किया जाएगा। इसमें उपर्युक्त व्यक्तियों को मुख्य भूमि, हांगकांग और मकाओ सहित चीन में प्रवेश करने से रोकना, चीन में उनकी संपत्ति को फ्रीज करना और चीनी नागरिकों और संस्थानों को उनके साथ व्यापार करने से रोकना शामिल है।

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चीनी प्रवक्ता ने कहा कि शिनच्यांग मामले विशुद्ध रूप से चीन के आंतरिक मामले हैं और अमरीका को हस्तक्षेप करने का कोई अधिकार नहीं है। अमरीका को तथाकथित प्रतिबंध हटा लेना चाहिए और शिनच्यांग मामलों और चीन के आंतरिक मामलों में दखल देना बंद कर देना चाहिए। स्थिति के विकास के आधार पर चीन आगे प्रतिक्रिया देगा।

वहीं, अमरीका, ब्रिटेन, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड द्वारा गठित फाइव आईज एलायंस ने 20 दिसंबर को विदेश मंत्रियों का तथाकथित संयुक्त बयान जारी किया‌। इसमें चीन के हांगकांग विशेष प्रशासनिक क्षेत्र में अभी-अभी सफलतापूर्वक संपन्न हुए सातवें विधान परिषद के चुनाव पर गैर-जिम्मेदाराना टिप्पणी की गई। इस बयान में हांगकांग के अधिकारों, स्वतंत्रता और स्वायत्तता को कमजोर करने के लिए चुनाव को बदनाम किया गया, और एक बार फिर से चीन-ब्रिटिश संयुक्त घोषणा-पत्र का उपयोग किया गया।

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इस बयान में हांगकांग के अधिकारों, स्वतंत्रता और स्वायत्तता को कमजोर करने के लिए चुनाव को बदनाम किया गया, और एक बार फिर से चीन-ब्रिटिश संयुक्त घोषणा-पत्र का उपयोग किया गया। अब हांगकांग का लोकतंत्र एक नया रूप दिखा रहा है, लेकिन फाइव आईज एलायंस ने एक ऐसा असामयिक और दुर्भावनापूर्ण बयान जारी किया, जो कि साबित करता है कि अमेरिका और ब्रिटेन जैसे कुछ पश्चिमी देश हांगकांग के लोकतांत्रिक विकास को नष्ट करने वाला बाहरी काले हाथ हैं।