
48 बच्चों के झुलसने पर सीएम का फैसला, तीन अफसरों को किया निलम्बित, दो संविदाकर्मी बर्खास्त
बलरामपुर. जिले के उतरौला क्षेत्र में सोमवार को एक प्राथमिक विद्यालय भवन पर हाईटेंशन तार गिरने से उसमें पढ़ रहे करीब चार दर्जन बच्चे झुलस गए थे। इन्हें निजी और सरकारी अस्पतालों में भर्ती कराया गया। मामले में कार्रवाई करते हुए डीएम ने लापरवाही बरतने के आरोप में बिजली विभाग के दो कर्मचारियों को निलंबित करने और अवर अभियंता के खिलाफ विभागीय जांच के आदेश दिया था। हादसे में तीन लोगों को निलम्बित कर दिया गया है साथ ही दो संविदाकर्मी बर्खास्त कर दिये गये है।
मामले में पूर्व में भी तैनात रहे अफसरों का ब्यौरा जुटाया जा रहा है, इन सब पर भी कार्रवाई होगी। मुख्यमंत्री के निर्देश पर गठित जांच कमेटी ने बुधवार को अपनी रिपोर्ट यूपी पॉवर कारपोरेशन के चेयरमैन आलोक कुमार को रिपोर्ट दी। इसे मुख्यमंत्री को सौंप दिया गया। प्रमुख सचिव आलोक कुमार ने बताया कि एमडी मध्यांचल की अध्यक्षता में गठित जांच कमेटी की रिपोर्ट के अनुसार 15 जुलाई को हुई घटना में अवर अभियंता प्रियदर्शी तिवारी और लाइन स्टाफ इबता हुसैन को उसी दिन शाम को निलंबित कर दिया गया था। उसके बाद बलरामपुर में जांच करने पहुंची टीम ने कई अन्य अफसरों की लापरवाही पकड़ी। इस आधार पर विद्युत परीक्षणाशाला उतरौला के सहायक अभियंता परीक्षण धीरेंद्र कुमार को निलंबित कर दिया गया। विद्युत परीक्षण खंड बलरामपुर के अधिशासी अभियंता परीक्षण राजेश कुमार सिंह और उतरौला के एसडीओ प्रशांत शेखर त्रिपाठी को चार्जशीट देकर विभागीय कार्रवाई शुरू कर दी गई है। अब तक इस मामले में तीन को निलम्बित किया जा चुका है। आउटसोर्सिंग से रखे गए गोपीनाथ शुक्ला और राजेंद्र कुमार को सेवाओं से बर्खास्त कर दिया गया है। कमेटी ने एलटी से एचटी लाइनों के उच्चीकरण के कार्य गुणवत्तापरक न कराए जाने पर तत्कालीन अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए नाम दो सप्ताह में मांगे हैं। कमेटी के अध्यक्ष एमडी मध्यांचल निगम ने बलरामपुर के अधीक्षण अभियंता को इस लाइन को स्कूल के नजदीक से एक सप्ताह में हटाने के निर्देश दिए हैं।
Updated on:
18 Jul 2019 10:18 am
Published on:
18 Jul 2019 10:16 am
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