
Barabanki News (Source: Police Media Cell)
Suicide Marital Betrayal: रामसनेहीघाट कोतवाली क्षेत्र के खानपुर शम्भूदयाल गांव में शनिवार सुबह एक दर्दनाक घटना सामने आई, जिसने पूरे इलाके को झकझोर कर रख दिया। पति के कथित अवैध संबंधों से आहत एक विवाहिता ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। महिला का शव घर के पास तालाब किनारे आम के पेड़ से लटका मिलने के बाद गांव में सनसनी फैल गई। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। घटना के पीछे पारिवारिक कलह और मानसिक उत्पीड़न की बात सामने आ रही है।
शनिवार की भोर करीब पांच बजे ग्रामीण जब शौच आदि के लिए घरों से बाहर निकले तो उन्होंने तालाब किनारे आम के पेड़ से एक महिला का शव रस्सी के सहारे झूलता हुआ देखा। पहले तो लोग पहचान नहीं सके, लेकिन पास जाकर देखने पर शव की पहचान 32 वर्षीय ममता पत्नी सुरेश चौहान के रूप में हुई। देखते ही देखते मौके पर ग्रामीणों की भीड़ जमा हो गई और पूरे गांव में शोक और दहशत का माहौल बन गया।
घटना की सूचना ग्रामीणों ने तत्काल रामसनेहीघाट कोतवाली पुलिस को दी। सूचना मिलते ही पुलिस टीम मौके पर पहुंची। पुलिस ने घटनास्थल का मुआयना किया, शव को नीचे उतरवाया और पंचनामा भरकर पोस्टमार्टम के लिए जिला मुख्यालय भेज दिया। फॉरेंसिक साक्ष्यों को सुरक्षित किया गया है ताकि मौत के कारणों की निष्पक्ष जांच हो सके।
मृतका ममता की शादी करीब छह वर्ष पहले खानपुर शम्भूदयाल निवासी सुरेश चौहान से हुई थी। ममता दो बेटियों की मां थी और सामान्य गृहस्थ जीवन जी रही थी। ग्रामीणों के अनुसार ममता स्वभाव से शांत और पारिवारिक महिला थी, जो अपनी बेटियों की परवरिश में जुटी रहती थी।
मायका पक्ष और ग्रामीणों द्वारा पुलिस को दी गई जानकारी के अनुसार, करीब तीन वर्ष पहले ममता के पति सुरेश ने अपने छोटे भाई अवधेश की शादी ममता की छोटी बहन से करवाई थी। शादी के महज एक सप्ताह बाद ही अवधेश अपनी पत्नी को लेकर गांव छोड़कर लखनऊ चला गया। इस पूरे घटनाक्रम को लेकर गांव और परिवार में काफी चर्चा रही। बताया गया कि इसके बाद से ही ममता के पति के अपनी साली के साथ अवैध संबंधों की चर्चाएं शुरू हो गईं। मायका पक्ष का आरोप है कि ममता इस बात से बेहद आहत थी और कई बार उसने इसको लेकर विरोध भी किया था। पति और ससुराल पक्ष से अपेक्षित सहयोग न मिलने के कारण वह मानसिक तनाव में रहने लगी थी।
ग्रामीणों के अनुसार ममता अक्सर गुमसुम रहने लगी थी। वह अपने दुख किसी से खुलकर साझा नहीं करती थी। परिवार वालों का कहना है कि वह बच्चों की खातिर सब कुछ सह रही थी, लेकिन अंदर ही अंदर टूट चुकी थी। शुक्रवार रात उसने रोज़ की तरह अपनी दोनों बेटियों को भोजन कराया, उन्हें सुलाया और फिर घर से बाहर निकल गई। किसी को अंदेशा तक नहीं था कि वह ऐसा खौफनाक कदम उठा लेगी।
घटना के बाद गांव में यह सवाल गूंज रहा है कि क्या ममता की मौत महज आत्महत्या है या उसे इस हद तक मानसिक रूप से प्रताड़ित किया गया कि उसके पास कोई और रास्ता नहीं बचा। मायका पक्ष का कहना है कि यदि समय रहते उसकी बातों को गंभीरता से लिया गया होता तो शायद आज वह जिंदा होती।
इस मामले में पुलिस का कहना है कि प्रथम दृष्टया मामला आत्महत्या का प्रतीत हो रहा है, लेकिन सभी पहलुओं की गंभीरता से जांच की जा रही है। रामसनेहीघाट कोतवाली पुलिस के अनुसार, मृतका के परिजनों से तहरीर ली जा रही है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के सही कारणों की पुष्टि हो सकेगी। यदि किसी प्रकार की प्रताड़ना या अपराध के साक्ष्य मिलते हैं तो दोषियों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
ममता की मौत के बाद गांव में मातमी सन्नाटा पसरा हुआ है। उसकी दोनों मासूम बेटियां मां के इंतजार में बेसुध हैं। ग्रामीणों की आंखें नम हैं और हर कोई यही कह रहा है कि एक महिला को इस हद तक मजबूर कर दिया गया कि उसने अपनी जान दे दी।
Published on:
14 Dec 2025 03:12 am
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