
CM Mohan Yadav big Announcement: पत्रिका. (फोेटो: X)
CM Mohan Yadav Announcement: प्रदेश में वन क्षेत्रों के अंदर आदिवासियों के आराध्य पूजा स्थल अब उपेक्षित नहीं रहेंगे। सरकार इन्हें देवलोक वन के रूप में विकसित करेगी। अभी इन स्थलों पर पक्के निर्माण को लेकर वन विभाग के मैदानी अधिकारी मना करते हैं, जबकि आदिवासी समाज के लोग वर्षों से इनके संरक्षण और संवर्धन की मांग करता रहा है। सीएम डॉ. मोहन यादव ने शुक्रवार को सीएम निवास पर वन विभाग के एसीएस अशोक बर्णवाल और वन बल प्रमुख वीएन अंबाड़े के साथ समीक्षा की। इसमें साफ कर दिया कि पूजा स्थलों को देवलोक के रूप में विकसित किया जाए।
सीएम ने कहा, वनांचल में ऐसे बहुत से क्षेत्र हैं जिन्हें स्थानीय समुदायों द्वारा सांस्कृतिक या धार्मिक मान्यताओं के आधार पर पारंपरिक रूप से संरक्षित किया जाता है। आस्था के ये क्षेत्र आध्यात्मिक महāव के साथ जैवविविधता व सांस्कृतिक विरासत को बनाए रखने के लिए भी खास है।
वन क्षेत्रों के अंदर केंद्रीय वन कानूनों के तहत किसी भी तरह के निर्माण की अनुमति नहीं है। कोई भी राज्य इस रोक का उल्लंघन नहीं कर सकते। यही वजह है कि यदि टाइगर रिजर्व के अंदर रोड भी कच्चे बनाए जाते हैं।
केंद्र व राज्य की परियोजनाओं के मामले में विशेष अनुमति लगती है जो केंद्रीय वन्यप्राणी व राज्य वन्यप्राणी बोर्ड देता है। अब यदि मुख्यमंत्री की निर्देशों व मंशा के अनुरूप देवलोक वन की पक्की संरचना तभी संभव है जब केंद्र व राज्य सहमत हों।
जिन आदिवासी पूजा स्थलों को देवलोक वन के रूप में विकसित किया जाना है, उन्हें तार फेंसिंग से कवर्ड करना, पहुंच के लिए ग्रेवल रोड बनाना, पेविंग ब्लॉक के जरिए विशेष पाथ-वे का निर्माण करना, जैसे काम शामिल होंगे।
रीवा में पूर्व विधानसभा अध्यक्ष श्रीनिवास तिवारी को श्रद्धांजलि देने पहुंचे सीएम डॉ. मोहन यादव ने कांग्रेस नेताओं पर जमकर निशाना साधा। कहा, कांग्रेस हमें धर्म का काम करने से रोकती है। इनके नेताओं की बुद्धि में कोई कंट्रोल नहीं। चुनाव ये खुद हारते हैं और दोष आयोग पर लगा रहे हैं।
यह तो अर्बन नक्सलवादी मानसिकता है। कांग्रेसी कहते हैं कि हाइड्रोजन बम फोड़ेंगे, लेकिन निकलता फुस्सी बम है। उन्होंने महिलाओं से कहा, इनकी बातों को याद रखना। और आने वाले समय में इन्हें सबक सिखाना।
वाराणसी में होगा इंडस्ट्रियल समिट मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने चाकघाट में उद्योगपतियों से संवाद कर मप्र में निवेश का आमंत्रण दिया। उन्होंने नवंबर में वाराणसी में इंडस्ट्रियल समिट की घोषणा की, जिसमें देशभर के निवेशक भाग लेंगे। इस मौके पर बनारस से आए 17 उद्यमियों ने एक हजार करोड़ के निवेश का संकल्प लिया।
Updated on:
20 Sept 2025 11:41 am
Published on:
20 Sept 2025 10:36 am
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