
Soybean farmers
Bhavantar- मध्यप्रदेश में किसान हितैषी अनेक योजनाएं संचालित की जा रही हैं। इसी क्रम में प्रदेश में भावांतर योजना लागू की गई है। किसानों को सोयाबीन का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) का पूर्ण लाभ दिलाने के लिए योजना बनाई गई है। किसानों को सोयाबीन फसल में किसी तरह का नुकसान नहीं हो, इसके लिए योजना में प्रावधान किया गया है। राज्य सरकार ने किसानों को 8 नवंबर को बड़ी सौगात देते हुए भावांतर योजना में मॉडल रेट जारी कर दिए हैं। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोयाबीन किसानों को जल्द ही अतिरिक्त राशि का लाभ वितरण का ऐलान किया। उन्होंने दोहराया कि किसानों के हित और उनके कल्याण के लिए सरकार संकल्पित है।
एमपी के किसान कल्याण और कृषि विकास मंत्री एदल सिंह कंषाना ने कहा है कि भावांतर योजना को लेकर मंडियों में किसानों में उत्साह देखा जा रहा है। योजना अंतर्गत कृषि उपज मंडी समिति गंजबासौदा, देवास, उज्जैन, इंदौर तथा आगर में सोयाबीन की सर्वाधिक आवक रही। सभी मंडियों में विपणन की कार्यवाही सुचारू रूप से की जा रही है।
भावांतर योजनांतर्गत प्रदेश में 936352 किसानों ने पंजीयन कराया है। योजना प्रारंभ होने से अब तक प्रदेश की 243 मंडियों और उप मंडियों में 144180 किसानों द्वारा 2467100 क्विंटल सोयाबीन बेचा जा चुका है।
किसान कल्याण एवं कृषि विकास मंत्री एदल सिंह कंषाना ने बताया कि भावांतर योजना 2025 अंतर्गत सोयाबीन किसानों के लिए 8 नवंबर को 4033 रुपए प्रति क्विंटल का मॉडल रेट जारी किया गया है। यह मॉडल रेट उन किसानों के लिए है जिन्होंने अपनी सोयाबीन की उपज मंडी में बेची है। इसी मॉडल रेट के आधार पर ही भावांतर की राशि की गणना की जाएगी।
कृषि मंत्री एदल सिंह कंषाना ने कहा कि प्रदेश के किसानों को उपज के न्यूनतम समर्थन मूल्य का पूरा लाभ दिलाने के लिए सोयाबीन उत्पादक किसानों को भावांतर के अतिरिक्त 1300 रुपए प्रति क्विंटल दिए जाएंगे। आगामी 13 नवंबर को सोयाबीन उत्पादक किसानों को इसका लाभ वितरित किया जाएगा।
Updated on:
08 Nov 2025 03:24 pm
Published on:
08 Nov 2025 02:47 pm
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