
jagarnath tample
(पत्रिका ब्यूरो,भुवनेश्वर): बीते दो सालों से चल रही टूट-फूट की मरम्मत के बाद भी जगन्नाथ पुरी मंदिर के नाट्यमंडप की छत से पानी टपक रहा है। प्लास्टर भी टूटकर गिर रहा है। आईआईटी चेन्नई और खडगपुर तथा भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण की टीम ने श्रीमंदिर का निरीक्षण किया। यह टीम तीन दिन तक श्रीमंदिर का निरीक्षण करेगी। टीम श्रीजगन्नाथ मंदिर प्रशासन व प्रबंध समिति के सदस्यों के साथ भी बैठक करेगी। गुरुवार को निरीक्षण का अंतिम दिन होगा।
निरीक्षण करने वाली टीम के वरिष्ठ सदस्य आईआईटी चेन्नई के वरिष्ठ प्रोफेसर डा.अरुण कुमार मेनन ने बताया कि नाट्यमंडप में दरारें पाई गईं। सदियों पुराने इस मंदिर की दशा जीर्ण-शीर्ण हो चुकी है। मेनन ने बताया कि पानी रिसाव होना साबित करता है कि निर्माण अत्याधिक पुराना है, अब इसके मरम्मत की जरूरत है। उन्होंने बताया कि विशेषज्ञ दल अपनी रिपोर्ट शीघ्र ही दे देगा। बताया गया कि भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण टीम श्रीमंदिर के संरक्षण पर कदम उठाएगा। मेनन ने बताया कि श्रीमंदिर के अन्य हिस्सों का भी निरीक्षण किया जाएगा।
श्रीमंदिर की जीर्णशीर्ण अवस्था पर अदालत ने भी हस्तक्षेप किया है। ओडिशा हाईकोर्ट ने एएसआई को निर्देशित किया है कि श्रीजगन्नाथ मंदिर परिसर सभी छोटे बड़े मंदिरों की हालत का जायजा लेकर स्टेटस रिपोर्ट सौंपे। श्रीमंदिर परिसर में करीब 35 देवी देवताओं के छोटे-बड़े मंदिर हैं, जो गिराऊ हालत में जैसे लगते हैं। इसके अलावा मुक्ति मंडप का भी ढांचा है। 12 सदी के इस पुराने मंदिर में भारी संख्या में श्रृद्धालु नित्य आते-जाते हैं। प्रबंध समिति ने श्रीमंदिर का जय- विजय द्वार की मरम्मत का काम पूरा होने का दावा किया गया है ।
Published on:
22 Aug 2018 08:36 pm
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