29 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

एक सिलाई मशीन से रोल मॉडल तक…आखिर कौन हैं सुमित्रा सेन, जिन्हें पीएम मोदी ने मंच पर झुककर किया प्रणाम

PM Modi Bikaner: पीएम मोदी की सभा में एक अनोखा दृश्य देखने को मिला, जब एक महिला पीएम मोदी से मिलने मंच पर पहुंची और भावुक होकर प्रधानमंत्री के चरण स्पर्श करने को झुकी। तभी पीएम ने तुरंत उन्हें रोका और खुद झुककर उनसे प्रणाम किया।

2 min read
Google source verification
PM Modi and Sumitra Sen

सुमित्रा को झुककर प्रणाम करते हुए पीएम मोदी (फोटो पत्रिका नेटवर्क)

PM Modi and Sumitra Sen: बीकानेर जिले के पलाना गांव में ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बाद आयोजित पीएम नरेंद्र मोदी की सभा एक भावुक क्षण की गवाह बनी। जब मंच पर एक महिला पीएम मोदी से मिलने पहुंची तो वे भावुक होकर उनके चरण छूने झुकीं। लेकिन इससे पहले ही पीएम ने उन्हें रोका और स्वयं झुककर उन्हें प्रणाम किया।


बता दें कि यह महिला हैं बीकानेर जिले के पांचू ब्लॉक के पारवा गांव की रहने वाली सुमित्रा सेन, जो वर्तमान में ग्रामीण महिलाओं के लिए आत्मनिर्भरता की मिसाल बन चुकी हैं। सुमित्रा देवी ने प्रधानमंत्री को अपने हाथों से बनी लकड़ी की बैलगाड़ी का मॉडल भेंट किया, जो उनके आत्मविश्वास, मेहनत और प्रतिभा का प्रतीक है।


वे साल 2018 में राजस्थान सरकार की राजीविका योजना के अंतर्गत 'माजीसा स्वयं सहायता समूह' से जुड़ीं। उस समय उनकी आर्थिक स्थिति बेहद खराब थी और मासिक आय मात्र 400 से 500 रुपये के बीच थी।

ऐसे बनाई पहचान


स्वयं सहायता समूह से जुड़ने के बाद सुमित्रा ने 50,000 रुपये और फिर 'एकता शक्ति क्लस्टर लेवल फेडरेशन, पांचू' से एक लाख रुपये का ऋण लेकर सिलाई मशीन खरीदी। इसके बाद उन्होंने बैग, पर्स और लकड़ी की कलात्मक वस्तुएं बनानी शुरू कीं। साल 2022 में बीकानेर के ग्रामीण हाट में स्टॉल मिलने के बाद उनके उत्पादों को बड़ा मंच मिला और उन्होंने शहरी बाजार में भी कदम रखा।

अब महीने में कमाती हैं हजारों रुपये


-सुमित्रा एक महीने में करीब 25 हजार रुपये कमा लेती हैं
-पूरे प्रदेश से उनके पास ऑनलाइन ऑर्डर आते हैं
-आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनी सुमित्रा गांव की महिलाओं के लिए प्रेरणा स्रोत हैं

यह भी पढ़ें : बीकानेर के पलाना में पीएम मोदी ने राजस्थान पर की तोहफों की बारिश, जानिए क्या-क्या मिला

सिलाई मशीन से बदली जिंदगी


सुमित्रा ने एक सिलाई मशीन खरीदी और अपने हाथ के हुनर से बैग, पर्स और अन्य हस्तनिर्मित वस्तुएं बनानी शुरू की। साथ ही उन्हें लकड़ी की कलात्मक वस्तुएं बनाने में भी विशेष दक्षता है। साल 2022 में जब उन्हें ग्रामीण हाट बीकानेर में एक स्टॉल आवंटित हुआ, तो उनके हुनर और मेहनत को वह बाजार मंच मिला, जिसका उन्हें इंतजार था।

यह भी पढ़ें : PM मोदी ने बीकानेर से पाक… चीन और दुनिया को दिया बड़ा संदेश, बोले- ‘इस बार सीधे सीने पर किया प्रहार’