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पीड़ित 84 बच्चों को 25-25 हजार का मुआवजा दें सरकार, बलौदाबाजार के स्कूल में कुत्ते का जूठा भोजन परोसने पर HC का कड़ा आदेश

CG High Court: बलौदाबाजार जिले के लच्छनपुर मिडिल स्कूल में कुत्ते का जूठा भोजन खिलाने के मामले में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने 84 बच्चों को एक माह के अंदर 25 - 25 हजार रुपए मुआवजा देने का आदेश दिया है।

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हाईकोर्ट (Photo Patrika)

हाईकोर्ट (Photo Patrika)

Bilaspur High Court: बलौदाबाजार जिले के लच्छनपुर मिडिल स्कूल में कुत्ते का जूठा भोजन खिलाने के मामले में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने 84 बच्चों को एक माह के अंदर 25 - 25 हजार रुपए मुआवजा देने का आदेश दिया है। चीफ जस्टिस की डिवीजन बेंच ने इस मामले में सुनवाई के दौरान स्कूलों में मध्यान्ह भोजन व्यवस्था सुधारने के लिए भी राज्य शासन को दिशा निर्देश जारी किए हैं। मामले की अगली सुनवाई 17 सितंबर को रखी गई है।

डिवीजन बेंच ने कहा कि स्वयं सहायता समूह द्वारा दिया गया मध्याह्न भोजन कुत्ते द्वारा दूषित कर दिया गया था और यह स्कूल के छात्रों के खाने के लिए अनुपयुक्त था। संयुक्त सचिव ने कोर्ट को बताया कि प्रधानाध्यापक और शिक्षकों की शिकायतों के बावजूद दूषित भोजन परोसा गया।

इसके लिए जिम्मेदार स्वयं सहायता समूह को न केवल मध्याह्न भोजन वितरण कार्य से हटा दिया गया, बल्कि उसे आगे कोई भी सरकारी कार्य नहीं दिया जाएगा। स्कूल के प्रभारी प्रधानाध्यापक, संकुल प्रधानाध्यापक, प्रभारी प्रधानाध्यापक और शिक्षकों तथा संकुल समन्वयक को भी निलंबित कर दिया गया है। शिक्षा निदेशक ने तीन शिक्षकों पर जुर्माना भी लगाया है।

शासन ने भोजन और वितरण व्यवस्था पर भी पेश की रिपोर्ट

कोर्ट को बताया गया कि स्कूल शिक्षा निदेशालय ने राज्यव्यापी दिशानिर्देश जारी किए हैं। वहीं बलौदाबाजार कलेक्टर ने स्कूलों में मध्याह्न भोजन की तैयारी और वितरण के लिए कुछ निर्देश जारी किए हैं। इसके अनुसार रसोई शेड की घेराबंदी, शेड में सप्ताह में दो बार ब्लीचिंग पाउडर से सफाई, भोजन में इस्तेमाल होने वाली वस्तुओं की गुणवत्ता की जांच की जाएगी। प्रधानाध्यापक, शिक्षकों को भोजन से पहले छात्रों के हाथ धुलवाने, अभिभावकों को भोजन की तैयारी और वितरण पर नज़र रखने और गुणवत्ता वाला भोजन न बनाए रखने वाले स्वयं सहायता समूहों के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश भी दिए गए हैं।