
डिजिटल गोल्ड को लेकर सेबी ने चेतावनी दी है। (PC: Pexels)
अगर आपने अभी-अभी डिजिटल गोल्ड या ई-गोल्ड (Digital or e-gold products) खरीदा है या खरीदने की सोच रहे हैं, तो आपके लिए एक चेतावनी है। यह चेतावनी किसी और ने नहीं, बल्कि मार्केट रेगुलेटर भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) ने दी है। रेगुलेटर ने निवेशकों से कहा है कि अलग-अलग ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स पर बेचे जा रहे ई-गोल्ड प्रोडक्ट्स में निवेश करने से बचें।
SEBI ने अपनी ओर से जारी चेतावनी में ये कहा है कि इन प्लेटफॉर्म्स पर बेचे जा रहे कई डिजिटल गोल्ड प्रोडक्ट्स उनके रेगुलेटरी दायरे से बाहर हैं और इनमें काफी ज्यादा 'जोखिम' है। SEBI की यह चेतावनी कई ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स की तरफ से 'डिजिटल गोल्ड/ई-गोल्ड' प्रोडक्ट्स (Digital Gold/E-Gold Products) को लेकर हाल-फिलहाल में आक्रामक प्रचार को देखने के बाद आई है। इनमें यह बताया जा रहा है कि डिजिटल गोल्ड, फिजिकल गोल्ड का एक आसान और सुविधाजनक विकल्प है।
SEBI ने साफ किया है कि इन प्लेटफॉर्म्स पर जो भी बेचा जा रहा है, इनको न तो प्रतिभूतियों के रूप में वर्गीकृत (classified) किया गया है और न ही कमोडिटी डेरिवेटिव्स (commodity derivatives) के रूप में विनियमित (regulate) किया गया है। SEBI ने अपनी प्रेस रिलीज में कहा है कि डिजिटल/ऑनलाइन प्लेटफॉर्म की तरफ से पेश किए जाने वाले डिजिटल गोल्ड/ई-गोल्ड प्रोडक्ट्स SEBI-रेगुलेटेड गोल्ड प्रोडक्ट्स से अलग हैं। इसमें आगे कहा गया है कि इन रेगुलेटेड गोल्ड प्रोडक्ट्स में निवेश केवल 'सेबी रजिस्टर्ड इंटरमीडियरीज के जरिए ही किया जा सकता है और ये SEBI द्वारा तय रेगुलेटरी फ्रेमवर्क में होते हैं।'
SEBI की इस चेतावनी को समझने के लिए हमें ये समझना होगा कि डिजिटल गोल्ड क्या है और ये काम कैसे करता है, फिर हम जानेंगे कि वो कौन से प्रोडक्ट्स हैं जो रेगुलेटर के दायरे में आते हैं। देखिए, गोल्ड एक महंगा मेटल है, जिसे खरीदना हर किसी के लिए आसान नहीं होता है, ज्यादातर मौकों पर एक साथ बड़ी मात्रा में तो कतई नहीं। इसलिए डिजिटल गोल्ड एक सुविधा देता है कि आप डिजिटल गोल्ड को थोड़ी-थोड़ी मात्रा में ऑनलाइन खरीदकर रख लें। ऐसी तमाम वेबसाइट्स और ऐप्स हैं, जो डिजिटल गोल्ड प्रोडक्ट्स बेच रही हैं। ये वेबसाइट्स और ऐप्स ये दावा करते हैं कि जितना गोल्ड आप खरीदते हैं, उतनी ही मात्रा का 24 कैरेट गोल्ड वो तिजोरियों में सुरक्षित रख देते हैं। आपको अपने सोने का एक डिजिटल रिकॉर्ड मिलता है, और आप इसे कभी भी वापस बेच सकते हैं या फिजिकल गोल्ड मंगवा भी सकते हैं, जैसे कि सोने का सिक्का। इसे आसान और सुविधाजनक बताया जाता है।
अभी तक आप ये जान गए हैं कि वेबसाइट्स और ऐप्स पर जो गोल्ड प्रोडक्ट्स ऑफर किया जा रहा है, उनमें से कई SEBI रेगुलेटेड नहीं है, तो फिर वो कौन से गोल्ड प्रोडक्ट्स हैं, जो कि रेगुलेटर के दायरे में आते हैं। चलिए समझते हैं -
ऊपर बताए गए ये सभी प्रोडक्ट्स मार्केट रेगुलेटर SEBI के रेगुलेटरी दायरे में आते हैं। इसलिए निवेशकों के हितों की रक्षा की जिम्मेदारी रेगुलेटर की होती है। लेकिन जो भी डिजिटल गोल्ड प्रोडक्ट्स ऑनलाइन बेचे जा रहे हैं, उनमें से ज्यादातर SEBI के दायरे में नहीं आते हैं, इसका मतलब ये हुआ कि निवेशकों की सुरक्षा की कोई गारंटी नहीं है। ये तो सिर्फ उस कंपनी पर निर्भर करता है, जो ऐसे प्रोडक्ट्स ऑफिर कर रही है, क्योंकि अगर आपका निवेश डूबा तो आपके पास उसको चुनौती देने के लिए भी ज्यादा विकल्प नहीं हैं। इसलिए अगर आप गोल्ड में निवेश करने की सोच रहे हैं, तो अपने निवेश सलाहकार से अवश्य चर्चा करें।
Updated on:
11 Nov 2025 10:36 am
Published on:
11 Nov 2025 10:35 am
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