
WTC के फाइनल से बदल जाएगा ये बड़ा नियम, सौरव गांगुली की ICC कमेटी का फैसला।
ICC Soft Signal Rules : भारतीय टीम के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली की अध्यक्षता वाली इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) ने सॉफ्ट सिग्नल के नियम को खत्म करने का फैसला लिया है। इसका मतलब ये है कि अब मैदानी अंपायर कैच को लेकर सॉफ्ट सिग्नल नहीं दे सकेंगे। कैच सही है या नहीं, इसका निर्णय थर्ड अंपायर ही लेंगे। बताया जा रहा है कि ये नया नियम भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच 7 से 11 जून तक इंग्लैंड के ओवल में खेले जाने वाले वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में लागू हो जाएगा।
डब्ल्यूटीसी के फाइनल के लिए रिजर्व-डे
आईसीसी ने वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप का फाइनल खेलने वाली दोनों टीमों को इसकी जानकारी दे दी है। इसके साथ ही बताया गया है कि डब्ल्यूटीसी के फाइनल के लिए एक दिन का रिजर्व-डे भी रखा जाएगा। वहीं अगर मैच के दौरान कुदरती रौशनी अच्छी नहीं हो तो फ्लड लाइट्स का इस्तेमाल किया जा सकता है।
क्या है सॉफ्ट सिग्नल का नियम?
मैच के दौरान मैदानी अंपायर किसी कैच को लेकर कन्फ्यूज होता है तो वह कैच थर्ड अंपायर के पास रेफर करता है। थर्ड अंपायर को सॉफ्ट सिग्नल के जरिए अपनी राय बतानी होती है। मैदानी अंपायर के सॉफ्ट सिग्नल को थर्ड अंपायर तब तक नहीं बदलता, जब तक उसके पास निर्णय लेने लायक पर्याप्त सबूत न हो। मतलब थर्ड अंपायर के श्योर नहीं होने पर मैदानी अंपायर का सॉफ्ट सिग्नल ही फाइनल होता है।
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डब्ल्यूटीसी के फाइनल से बदलेगा नियम
बता दें कि सॉफ्ट सिग्नल को लेकर कई बार विवाद की स्थिति भी बनी है। इसी वजह से सौरव गांगुली की अध्यक्षता वाली आईसीसी ने कमेटी ने इसे समाप्त करने का सुझाव दिया था। अब कमेटी ने सॉफ्ट सिग्नल को खत्म कर दिया है। अब नए नियम के तहत मैदानी अंपायर कन्फ्यूज होने पर कैच का रिव्यू थर्ड अंपायर को रेफर तो करेगा, लेकिन सॉफ्ट सिग्नल नहीं दे सकेगा। थर्ड अंपायर रिव्यू कर खुद ही निर्णय लेगा।
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Published on:
15 May 2023 05:20 pm
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