
नई दिल्ली। दिल्ली के बुराड़ी में एक ही परिवार के 11 लोगों की मौत का राज खुलता नजर आ रहा है। दिल्ली पुलिस के मुताबिक घर से मिली डायरियों पर मौत के इस खेल का एक-एक पल दर्ज है। घर से जो सीसीटीवी फुटेज मिले हैं उसमें साफ दिख रहा है की कैसे इस मौत के खेल को अंजाम दिया गया है। खुदकुशी के लिए 9 लोगों ने 5 स्टूलों का इस्तेमाल किया था। दिल्ली पुलिस द्वारा जारी सीसीटीवी फुटेज में स्टूल लाते हुए नीतू और उसकी मां दिख रही हैं। इसके अलावा सीसीटीवी फुटेज से यह भी साफ है कि रात में घर के नीचे की फर्नीचर की दुकान से बच्चे पतला तार लेकर ऊपर गए। फांसी लगाने से पहले पूरे परिवार को यकीन था कि उनके मृतक पिता की आत्मा आकर उन्हें बचा लेगी।
रजिस्टरों से मिले अहम सुराग
मामले के सभी तारों को जोड़ने में उन रजिस्टरों से काफी मदद मिल रही है जिसमें फांसी लगाने के तरीके और इससे जुड़ी हर क्रिया का विस्तार से ज़िक्र है। गौरतलब है कि घर में 11 पाइपों, 11 जालों वाले झरोखों और 11 रजिस्टरों का मिलना बड़ा दिलचस्प है। रजिस्टरों पर 10 साल पहले मरे पिता की आत्मा से हुई हर बातचीत दर्ज है। ललित पूरे घर को धमकी देता था कि अगर उसका कहना नहीं माना गया तो डैडी सबको खत्म कर देंगे। इस वजह से पूरा घर उसकी कोई बात नहीं टालता था।
ये है ख़ुदकुशी का राज
रजिस्टर में 30 जून 2018 की आखिरी एंट्री है जो इस घटना का राज खोलती है। रजिस्टर के अंतिम पन्ने पर लिखा है- 'घर का रास्ता, 9 लोग जाल में, बेबी मंदिर के पास स्टूल पर, 10 बजे खाने का ऑर्डर, मां रोटी खिलाएगी, क्रिया शनिवार-रविवार रात के बीच होगी, मुंह में ठूंसा होगा गीला कपड़ा, हाथ बंधे होंगे। तुम कप में पानी तैयार रखना, जैसे ही इसका रंग बदलेगा, मैं प्रकट होऊंगा और सबको बचाऊंगा।'
पुलिस के मुताबिक उसके बाद जब परिवार ने सुसाइड अटेम्प्ट किया तो सब कुछ एक्सीडेंटल हुआ। रजिस्टर में लिखा है कि इस प्रक्रिया के बाद आत्मा प्रकट होंगे और सबके हाथ खोलेगी । आत्मा किसी एक सदस्य का हाथ खोलती और उसके बाद सबको एक दूसरे के हाथ खोलने थे। परिवार के लोगों का विश्वास था कि इस प्रक्रिया से उनकी शक्तियां बढ़ जाएंगी।
रजिस्टर में है तीन हैंडराइटिंग
पुलिस ने बताया है कि रजिस्टरों में तीन से चार लोगों की हैंडराइटिंग मिली हैं। ज्यादातर ललित बोलता था और प्रियंका लिखती थी। 24 जून से जब पूजा शुरू की गई तो कई लोगों की लिखावट एक साथ दर्ज है। पुलिस ने बताया कि यह परिवार भाटिया नहीं बल्कि चुंडावत था। पुलिस ने बताया कि अभी तक कुल 11 रजिस्टर बरामद किए गए हैं। रजिस्टर के अनुसार पिछले 11 साल से ललित के पिता उसके सपने में आ रहे थे। पुलिस ने यह भी बताया कि घर में कोई धार्मिक किताब नहीं मिली है।
Updated on:
05 Jul 2018 09:11 am
Published on:
05 Jul 2018 08:56 am
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