मामले की सूचना पर अभिभावक एवं ग्रामीण भी विद्यालय पहुंच गए और प्रधानाचार्य के समक्ष विरोध जताया। कोलवा थाना प्रभारी को मौके पर बुलाकर वस्तुस्थिति से अवगत कराते हुए प्रधानाचार्य के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। छात्रों ने आरोप लगाया कि उन्हें तीन-चार रोज से पोषाहार मुहैया नहीं कराया जा रहा है। इसकी शिकायत उन्होंने सरपंच बीरबल बलाई से कर दी। सरपंच ने विद्यालय पहुंच प्रधानाचार्य से बच्चों को पोषाहार नहीं मिलने की जानकारी मांगी। ग्रामीणों का आरोप है कि इससे नाराज होकर प्रधानाचार्य ने बच्चों की पिटाई कर दी। इससे कुछ बच्चों को चोट आई, तो कुछ की तबीयत बिगड़ गई। छात्र सोनू मीणा, हितेश बलाई, कृष्ण प्रजापत एवं नवलकिशोर मीणा को बांदीकुई चिकित्सालय एवं पवन कुमार जोगी,मनोज कुमार जोगी, हरिमोहन मीणा गुढ़ाकटला अस्पताल में भर्ती कराया गया।
अभिभावकों ने विद्यालय पहुंच प्रधानाचार्य के समक्ष विरोध जताते हुए कार्रवाई की मांग की। कोलवा थाना प्रभारी शिवराम सिंह ने समझाइश करने का प्रयास भी किया, लेकिन अभिभावक प्रधानाचार्य के खिलाफ कार्रवाई की मांग पर अड़ गए। ग्रामीणों ने प्रधानाचार्य पर अभद्र व्यवहार करने सहित कई आरोप भी लगाए। थाना प्रभारी ने बताया कि अभिभावकों की ओर से प्रधानाचार्य के खिलाफ बच्चों को पोषाहार से वंचित रखने का मामला सामने आया था। जहां दोनों पक्षों को समझा दिया।
वहीं प्रधानाचार्य (पीईईओ) कैलाशचंद गुप्ता का कहना है कि विद्यालय के ही एक शिक्षक ने बच्चों व ग्रामीणों को उकसाकर सरपंच के पास भेजा गया। बच्चों के साथ मारपीट करने व पोषाहार मुहैया नहीं कराने जैसी कोई बात नहीं है। पहले पोषाहार का जिम्मा किसी अन्य के पास था, जिसे बदलकर अब दूसरे शिक्षक को दे दिया है।
पुलिस सुरक्षा में गए प्रधानाचार्य
ग्रामीणों के आक्रोश को देखते हुए प्रधानाचार्य को विद्यालय से पुलिस सुरक्षा के बीच निकाला गया।
सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल
प्रधानाचार्य (पीईईओ) से जुड़े मामलों का ग्रामीणों ने वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। एक वीडियो में एपीओ किया गया शिक्षक मनोज कुमार हाथ जोड़कर एरियर की मांग करता हुआ दिखाई दे रहा है। वहीं दूसरे वीडियो में बालक रोते हुए पिटाई की घटना सुना रहे हैं।
शिक्षक को कार्यमुक्त करने का विरोध दौसा. शिक्षक संघ शेखावत के प्रतिनिधिमंडल ने जिलाध्यक्ष फैलीराम मीना के नेतृत्व में जिला शिक्षा अधिकारी ओमप्रकाश शर्मा से मिलकर एक पीईईओ द्वारा शिक्षक को कार्यमुक्त (एपीओ) कर डीईओ कार्यालय भेजने पर विरोध जताया। मीना ने बताया कि बगड़ेडा के शिक्षक मनोज कुमार ने सितम्बर 2014 से नवम्बर 2016 तक करीब 2.66 लाख का एरियर, सातवें वेतनमान का फिक्सेशन एरियर 24 हजार व बोनस राशि का भुगतान पंचायत समिति प्रारम्भिक शिक्षा अधिकारी भांवता-भांवती से मांगा तो अध्यापक को कार्यमुक्त कर दिया गया। संगठन ने अध्यापक को तत्काल मूल विद्यालय भेजने व पीईईओ के खिलाफ मामले की जांच कर कार्रवाई की मांग की।