
Rajasthan News : शिक्षा विभाग में लम्बे समय के इंतजार के बाद पदोन्नत चार हजार से भी अधिक प्रधानाचार्यों के पदस्थापन के लिए ऑनलाइन काउंसलिंग चार अप्रेल से शुरू हो गई है। माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की ओर से गुरुवार को पदोन्नत शिक्षकों के पदस्थापन के लिए तीन अप्रेल को रिक्त पदों की सूची जारी कर दी है। इसमें पदोन्नत 4 हजार 33 पदों के लिए डूंगरपुर सहित प्रदेशभर के विभिन्न जिलों के चार हजार 840 पद पोर्टल पर प्रदर्शित किए हैं। पदोन्नत प्रधानाचार्य नौ अप्रेल रात्रि 12 बजे बजे तक स्कूलों का ऑनलाइन चयन कर लॉक करेंगे। पर, रिक्त पदों की सूचियों ने बड़ा प्रपंच डाल दिया है। सूचियां देखते ही पदोन्नत प्रधानाचार्यों के होश उड़ गए हैं। रिक्त पदों की सूची में जिले सहित प्रदेशभर में अधिक नामांकन वाले बड़े विद्यालयों के पद रिक्त घोषित ही नहीं किए हैं। ऐसे में आने वाले माह में पदस्थापन आदेश निकलने पर स्थितियां डगमगानी तय है। अधिक नामांकन वाले विद्यालय तो मुखिया विहिन रहेंगे और कम नामांकन वाले विद्यालयों में प्रधानाचार्य मिलेंगे।
टीएसपी के जिलों में लंबे समय से प्रधानाचार्य के पद रिक्त हैं। इस बार भी रिक्त पदों की तुलना में बहुत कम रिक्त पद दर्शाए हैं। डूंगरपुर जिले में 271 रिक्त पदों की तुलना में 204, बांसवाडा जिले में 305 रिक्त पदों की तुलना में 256 एवं प्रतापगढ़ जिले में 218 की तुलना में 190 पदों को ही रिक्त बताया है। ऐसे में हालात जस के तस ही रहने हैं। सरकार ने अधिकांश नवक्रमोन्नत स्कूलों को ही लिया है। ऐसे में आने वाले सत्र में दिक्कतें और बढ़ेंगी।
जिला - रिक्त पद - घोषित
डूंगरपुर - 271 - 204
बांसवाड़ा - 305 - 256
प्रतापगढ़ - 218 - 190
चितौड़गढ़ - 247 - 136
राजसमंद - 146 - 093
उदयपुर - 478 - 334
राजस्थान शिक्षक संघ राष्ट्रीय के प्रदेश उपाध्यक्ष डा. ऋषिन चौबीसा एवं जिला उपाध्यक्ष राजेन्द्र सिंह चौहान ने बताया कि क्रमोन्नत स्कूलों में प्रधानाचार्य लगाने का निर्णय अच्छा है। पर, अधिक नामांकन वाले विद्यालयों को वंचित रखना उचित नहीं है। उपप्रधानाचार्य प्रधानाचार्य दोनों के पद खाली हो जाएंगे, तो स्थितियां और अधिक बिगड़ेगी। वहीं, टीएसपी क्षेत्र में सभी रिक्त पद प्रदर्शित करने की मांग को लेकर संगठन ने सरकार तक बात पहुंचाई है।
डूंगरपुर जिले सहित प्रदेशभर में अधिक नामांकन वाले बड़े विद्यालयों में गत सरकार ने वर्ष 2022 में उपप्रधानाचार्य का पद सृजित किया था। इसमें बकायदा डीपीसी आयोजित कर उपप्रधानाचार्य की नियुक्ति भी की गई थी। अभी हाल ही में उपप्रधानाचार्य की डीपीसी में इन विद्यालयों में कार्यरत उपप्रधानाचार्य को पदोन्नति के उपरांत प्रधानाचार्य बन गए। विभाग ने काउंसलिंग प्रक्रिया नहीं अपनाकर इन्हें यथास्थान कार्यग्रहण करवा दिया था। इससे इन विद्यालयों को प्रधानाचार्य मिल गए थे। अब विभाग ने पदस्थापन के लिए शिड्यूल जारी किया है। पर, इसमें सभी रिक्त पद घोषित नहीं किए और घोषित रिक्त पद भी अपेक्षाकृत कम नामांकन वाले ही किए हैं। ऐसे में इन विद्यालयों में यथास्थान कार्यग्रहण करने वाले प्रधानाचार्य को मजबूरन अन्य विद्यालय का ऑप्शन चुनना पड़ेगा। ऐसे में इन विद्यालयों में न तो उपप्रधानाचार्य रहेगा और नहीं नया प्रधानाचार्य मिलेगा। ऐसे में समस्या अधिक बढ़ेगी।
काउंसलिंग प्रक्रिया शुरू हो गई है। रिक्त पद निदेशालय से प्रदर्शित किए हैं। शिक्षक संगठन की बात मुख्यालय तक पहुंचाई जाएगी।
नवीन प्रकाश पण्ड्या, मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी, डूंगरपुर
Published on:
07 Apr 2025 12:29 pm
बड़ी खबरें
View Allडूंगरपुर
राजस्थान न्यूज़
ट्रेंडिंग
