जून 2018 में लिया था निर्णय
सरकार ने जून 2018 में अमरीका के कुछ इस्पात और एल्युमीनियम उत्पादों पर उच्च दर से सीमा शुल्क लगाने के निर्णय के बाद अमरीका से आयातित वस्तुओं पर उच्च दर से शुल्क लगाने का निर्णय किया था, लेकिन तब से लेकर अबतक इसके क्रियान्वयन की समयसीमा करीब छह बार बढ़ायी जा चुकी है।
भारत ने उठाया ये कदम
आपको बता दें कि दोनों पक्ष द्विपक्षीय व्यापार बढ़ाने को लेकर व्यापार पैकेज पर बातचीत कर रहे हैं। इसलिए भारत ने यह कदम उठाया है, लेकिन इसी महीने अमरीका ने सामान्य तरजीही प्रणाली (जीएसपी) के जरिए कुछ वस्तुओं पर दिये जा रहे निर्यात प्रोत्साहन को वापस लेने का फैसला किया।
निर्यातक हैं परेशान
दोनों देशों के बीच जारी बातचीत में इन लाभों का विस्तार समेत अन्य मुद्दे शामिल हैं। इन प्रोत्साहनों को दो मई से वापस लिये जाने की संभावना है। अमरीका के इस निर्णय से निर्यातक थोड़े चिंतित हैं क्योंकि 5.6 अरब डालर मूल्य का निर्यात जीएसपी कार्यक्रम के अंतर्गत आता है। रसायन और इंजीनयरिंग समेत करीब 1,900 जिंस इस छूट का लाभ उठाते हैं।
अमरीका कर रहा विचार
सरकार ने अगले महीने एक प्रतिनिधिमंडल को अमरीका भेजने पर विचार किया है। ताकि सभी व्यापार संबंधित मुद्दों का समाधान तलाशने के उपायों पर बातचीत हो सके। दोनों देश अल्पकाल और मध्यम अवधि में व्यापार बढ़ाने तथा व्यापार क्षमता चिन्हित करने के लिये बातचीत कर रहे हैं।
( ये न्यूज एजेंसी से ली गई है। )
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