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भारत में अगर नहीं बढ़ा लॉकडाउन तो जुलाई के मध्य तक चरम पर पहुंच जाएंगे Covid-19 के मामले

अगर 30 मई के बाद से लॉकडाउन ( Lockdown ) को नहीं बढ़ाया गया तो जुलाई ( July ) मध्य के तक कोरोना के मामले अपने चरम पर पहुंच जाएंगे, फिर लोगों को पता चलेगा कि यह बगैर नियंत्रण के यह किस तरह फैलता है।

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Coronavirus Impact

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नई दिल्ली। देशभर में कोरोना वायरस ( coronavirus ) के तेजी से बढ़ते संक्रमण को रोकने के लिए लॉकडाउन का चौथा फेज चल रहा है। अगर देश में जारी लॉकडाउन इस महीने के अंत के बाद नहीं बढ़ाया जाता है, तो देश में कोरोना मामलों की संख्या जुलाई मध्य में चरम पर पहुंच सकती है।

स्वास्थ्य क्षेत्र के विशेषज्ञ प्रोफेसर गिरिधर बाबू ने यह दावा किया। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि दो महीने तक कंटेनमेंट जैसे उपायों के कारण लॉकडाउन ( Lockdown ) हटाने के बावजूद कोरोना मामलों में अपेक्षाकृत कम संख्या में बढ़ोतरी दर्ज की जाएगी।

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पब्लिक हेल्थ फाउंडेशन ऑफ इंडिया ( Public Health Foundation of India ) के प्रोफेसर गिरिधर आर बाबू ने कहा- यदि 30 मई के बाद से लॉकडाउन को हटा लिया जाता है तो जुलाई मध्य के तक कोरोना मामले अपने चरम पर पहुंच जाएंगे, फिर लोगों को पता चलेगा कि यह बगैर नियंत्रण के यह किस तरह फैलता है।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ( Union Ministry of Health ) ने गुरूवार को कहा कि भारत में कोरोना से होने वाली मृत्युदर ( Death Rate ) 3.06 है, वहीं वैश्विक स्तर पर मृत्युदर 6.65 है। मंत्रालय ने इसके लिए समय पर मामलों की सही पहचान और उचित क्लीनिकल प्रबंधन को श्रेय दिया।

देश में गुरूवार को कोविड-19 ( COVID-19 ) के मामलों की संख्या बढ़कर 1,12,359 हो गई, जबकि इसके कारण जान गंवाने वालों की संख्या 3,435 पर पहुंच गई। इन मृत्यु के मामलों के विश्लेषण से ये भी पता चला है कि इस खतरनाक वायरस की चपेट में आकर मरने वालों में 64 प्रतिशत पुरुष और 36 प्रतिशत महिलाएं हैं।

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आयु के आधार पर वर्गीकृत करते हुए मंत्रालय ने बताया कि मौत के 0.5 फीसदी मामले 15 साल से कम आयु के बच्चों के हैं, 2.5 फीसदी मामले 15 से 30 साल की उम्र के बीच के, 11.4 फीसदी मामले 30 से 45 साल के बीच के, 35.1 फीसदी मामले 45-60 के और 50.5 फीसदी मामले 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों के हैं।