
CG News: ब्राजील ने भारत से आयातित किए बींस को अपनाकर अपने लिए समृद्धि के द्वार खोल दिए हैं। इसके अलावा गिर नस्ल की गाय पालन से दुग्ध उत्पादन का नया रिकॉर्ड कायम कर दिया है। अब ब्राजील भारतीय मसालों की ओर अपनी निगाहें डाल रहा है। भारतीय कृषि अर्थव्यवस्था सहित अंतरराष्ट्रीय सहयोग पर हुई एक एक्सपोजर विजिट में भारत का प्रतिनिधित्व कोंडागांव के उन्नत कृषक डॉ. राजाराम त्रिपाठी ने किया। ब्राजील में हुई इस विजिट की प्रमुख बातें डॉ. राजाराम ने पत्रिका से साझा कीं।
ब्राजील के रियो डि जिनेरियो, साओपालो समेत अन्य महानगरों में 7 से 17 दिसंबर तक हुई इस दस दिवसीय इस विजिट व सेमीनार में डॉ. राजाराम त्रिपाठी ने इस बात को वजनदार तरीके से रखा कि भारत और ब्राजील मिलकर पूरे विश्व को भुखमरी से उबार सकते हैं। इस सेमिनार में वहां के कृषि वैज्ञानिक, ब्राजील चेंबर ऑफ कॉमर्स के साथ ही साथ दोनों देशों के राजदूतों से भी त्रिपाठी ने चर्चा की।
पीएम मोदी तक पहुंचाएंगे रिपोर्ट: ब्राजील जिस तरह से भारतीय बींस व गिर नस्ल की गायों से समृद्ध हो रहा है। इंटिग्रेटेड कृषि से वहां के किसान उन्नत हो रहे हैं। वहां के उद्योग, कोऑपरेटिव, फील्ड रिपोर्ट इन बातों का अध्ययन इस दल ने किया है। इस रिपोर्ट से अब डॉ त्रिपाठी पीएम मोदी को अवगत कराएंगे।
CG News: पत्रिका से चर्चा में डॉ राजाराम ने बताया कि ब्राजील में एक ही कैंपस में किसान बीज, खाद, उपकरण व तकनीक लेता है। अपने उत्पाद की प्रोसेसिंग, पैकेजिंग व मार्केटिंग कर लेता है। इससे मुनाफा सीधे किसानों को मिलता है। भारत में इसका उलट है। यहां पर बाजार संगठित है। वह तय करता है कि किसान का उत्पाद कम से कम दाम में लेकर अधिक मुनाफा कैसे कमाया जाए।
इन मॉडल में बदलाव की जरूरत है। इसके अलावा ब्राजील में कृषि विषयक शोध सीधे किसानों तक पहुंचाया जाता है। भारत में यह कमी है, यहां वैज्ञानिक व किसानों के बीच लंबी दूरी है। इसलिए देश के ज्यादातर किसान उन्नत कृषि से दूर ही रह गए हैं। इसके अलावा अन्य बातों पर ब्राजील में हुए सेमिनार में उन्होंने उठाए हैं।
Updated on:
22 Dec 2024 11:01 am
Published on:
22 Dec 2024 10:35 am
बड़ी खबरें
View Allजगदलपुर
छत्तीसगढ़
ट्रेंडिंग
