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जवानों की थाली में सेहत का स्वाद, CISF के भोजन में अब 30 % ‘श्री अन्न’ मिलेट

Jagdalpur News: गृह मंत्रालय की मिलेट मुहिम को सीआईएसएफ ने जमीनी स्तर पर लागू किया। इसके बाद गृह मंत्रालय ने 4 मई 2023 को सभी केंद्रीय सशस्त्र बलों को मिलेट को दैनिक आहार में शामिल करने का निर्देश दिया।

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Jagdalpur News: ‘श्री अन्न’ यानी मिलेट को लेकर देशभर में चल रही मुहिम अब जवानों की थाली तक पहुंच गई है। केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल सीआईएसएफ ने देशभर की 434 इकाइयों और फॉर्मेशन्स में दैनिक आहार में 30 फीसदी मिलेट शामिल करने का लक्ष्य सफलतापूर्वक हासिल कर लिया है।

Jagdalpur News: ‘अंतरराष्ट्रीय मिलेट वर्ष’ घोषित

यह पहल गृह मंत्रालय की ‘मिलेट मिशन’ के तहत की गई है, जो जवानों की सेहतमंद जीवनशैली को बढ़ावा देने के साथ-साथ आम जनता के बीच भी श्री अन्न को लोकप्रिय बना रही है। नगरनार स्टील प्लांट स्थित कमांडेंट कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, यह पहल तब शुरू हुई जब संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 2023 को ‘अंतरराष्ट्रीय मिलेट वर्ष’ घोषित किया।

इसके बाद गृह मंत्रालय ने 4 मई 2023 को सभी केंद्रीय सशस्त्र बलों को मिलेट को दैनिक आहार में शामिल करने का निर्देश दिया। सीआईएसएफ ने श्री अन्न को जवानों और उनके परिवारों की आदत में शामिल करने के लिए लगातार जागरूकता अभियान चलाए। रोल कॉल, सैनिक समेलन, ब्रिफिंग्स और स्वास्थ्य गोष्ठियों के माध्यम से जवानों को न केवल इसके पोषण गुणों के बारे में बताया गया, बल्कि 100 से अधिक रसोइयों को मिलेट व्यंजन बनाने का प्रशिक्षण भी दिया गया।

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सेहत और स्वाद को जोड़ते हुए सीआईएसएफ ने अब तक 662 स्वास्थ्य व्यायान, 1110 सेमिनार व वेबिनार, और 335 ‘श्री अन्न मेलों’ का आयोजन किया है। इन आयोजनों में जवानों और उनके परिवारों को यह बताया गया कि मिलेट को भोजन में कैसे स्वादिष्ट रूप से शामिल किया जा सकता है।

कैंटीनों में भी अब बढ़ी मिलेट की उपलब्धता

Jagdalpur News: सीआईएसएफ की कैंटीनों में भी अब मिलेट आधारित उत्पादों की उपलब्धता बढ़ा दी गई है। जवानों के साथ-साथ उनके परिवार भी अब श्री अन्न के फायदों से परिचित हो चुके हैं और अपने घर के आहार में इसे शामिल करने लगे हैं। अब तो स्थिति यह है कि सरकारी आयोजनों में भी मिलेट आधारित व्यंजन परोसे जा रहे हैं और यह स्वीकृत एवं लोकप्रिय विकल्प बन चुका है।

इस पहल ने साबित कर दिया है कि यदि इच्छाशक्ति हो तो पारंपरिक पौष्टिक अनाजों को भी आज की थाली में सम्मानजनक स्थान दिलाया जा सकता है। श्री अन्न यानी मिलेट अब सिर्फ एक अनाज नहीं, बल्कि एक स्वस्थ जीवन की नई पहचान बन चुका है।