किस्सा कुर्सी का: राजस्थान कांग्रेस में वर्चस्व की लड़ाई पहुंची अंतिम मुकाम पर कहा जा रहा है कि घनश्याम तिवाड़ी बड़े भाई और हनुमान लक्ष्मण की भूमिका निभा सकते हैं। सीटों के बंटवारे को लेकर भी दोनों दलों में कोई मतभेद नहीं है। गठबंधन में शामिल होने वाले अन्य दलों को भी पूरा सम्मान दिया जाएगा और उनके अनुरूप सीटें भी दी जाएंगी।
वो चेहरे जो टिकटों की दौड़ में नहीं रहकर चुनाव में पार्टी की जीत के लिए लगाते जी-जान 20 से 30 सीटें अन्य साथियों के लिए छोड़ी जाएंगी। तिवाड़ी का कहना है कि 10 नवम्बर को चुनाव समिति की बैठक है। इस दिन या फिर आगे प्रत्याशियों की सूची जारी की जाएगी। खासतौर पर नागौर, शेखावटी और मारवाड़ के जाट बाहुल्य सीटों पर माना जाता है। वहीं तिवाड़ी जयपुर, सीकर, अलवर क्षेत्र में प्रभावशाली भूमिका निभा सकते हैं।