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Lawrence vs Rohit: ‘धरती के किसी भी कोने में छिप जाओ, छोड़ेंगे नहीं’, हरी बॉक्सर पर हमले की रोहित गोदारा गैंग ने ली जिम्मेदारी

Lawrence Bishnoi vs Rohit Godara: रोहित गोदारा गैंग ने सोशल मीडिया पोस्ट में हमले की जिम्मेदारी ली और दावा किया कि इस गोलीबारी में हरी बॉक्सर के एक साथी की मौके पर ही मौत हो गई।

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जयपुर

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Arvind Rao

Oct 20, 2025

Lawrence Bishnoi vs Rohit Godara

Lawrence Bishnoi, Harry Boxer and Rohit Godara (Patrika Photo)

Lawrence Bishnoi vs Rohit Godara: अमेरिका के कैलिफोर्निया में भारतीय गिरोहों के बीच चल रहे अंतरराष्ट्रीय स्तर के गैंगवार की एक नई घटना सामने आई है। रोहित गोदारा और लॉरेंस बिश्नोई गिरोह के बीच पिछले वर्षों से जारी तनाव अब अमेरिका तक पहुंच गया है।


जानकारी के मुताबिक, अमेरिका के फ्रेस्नो शहर के हाइवे 41, एग्जिट 127 के पास हरी बॉक्सर, जो लॉरेंस बिश्नोई गिरोह का प्रमुख सहयोगी माना जाता है, पर गोलियां चलवाई गईं। गोदारा ने सोशल मीडिया पोस्ट में इस हमले की जिम्मेदारी ली और दावा किया कि इस गोलीबारी में बॉक्सर के एक साथी की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि दूसरा गंभीर रूप से घायल हुआ और उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया।


रोहित गोदारा ने अपने पोस्ट में हरी बॉक्सर को ‘हरिया’ कहकर निशाना बनाया और लिखा कि हमला उस समय हुआ जब बॉक्सर कार की सीट के नीचे छुपा हुआ था। गोदारा ने कहा कि हरी बॉक्सर धरती के किसी भी कोने में छिप जाए, उसे नहीं छोड़ा जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि जो लोग लॉरेंस बिश्नोई का समर्थन करते हैं, उन्हें कोई बख्शा नहीं जाएगा और उनका गिरोह समय आने पर विरोधियों को पूरी तरह खत्म कर देगा।


माना जा रहा है कि यह हमला दोनों गिरोहों के पिछले एक साल से जारी हिंसक टकराव का नया उदाहरण है। लॉरेंस बिश्नोई और रोहित गोदारा के गिरोहों का प्रभाव भारत के अलावा कनाडा, अमेरिका और यूरोप तक फैल चुका है। हाल के महीनों में कनाडा में कॉमेडियन कपिल शर्मा के कैफे पर हुई फायरिंग और पुर्तगाल में दर्ज अन्य घटनाओं के बाद अमेरिका में यह घटना वैश्विक स्तर पर गिरोहों की हिंसा को उजागर करती है।


हरी बॉक्सर को लॉरेंस बिश्नोई गिरोह का महत्वपूर्ण विदेशी सहयोगी माना जाता है। वह सोशल मीडिया पर काफी सक्रिय था और अक्सर हमलों की जिम्मेदारी लेते हुए अपने प्रतिद्वंद्वियों को चुनौती देता रहा। गोदारा के पोस्ट में यह साफ संदेश था कि विरोधियों को उनकी किसी भी गतिविधि का भुगतान भुगतना पड़ेगा।


बताते चलें, रोहित गोदारा पहले लॉरेंस बिश्नोई गिरोह का हिस्सा था। लेकिन कुछ महीनों पहले उन्होंने गोल्डी बराड़ के साथ मिलकर अलग गिरोह बना लिया। इस नई घटना ने यह स्पष्ट कर दिया कि भारतीय गिरोह अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी हिंसक गतिविधियों का विस्तार कर चुके हैं, जो अंतरराष्ट्रीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों के लिए गंभीर चिंता का विषय है।


फ्रेस्नो की यह गोलीबारी यदि सत्यापित होती है तो यह एक बार फिर साबित करती है कि स्थानीय गैंग संघर्ष अब महाद्वीपों तक फैलकर अंतरराष्ट्रीय संगठित अपराध का गंभीर खतरा बन गए हैं। अमेरिका और अन्य देशों की खुफिया एजेंसियां इस तरह के गिरोहों की गतिविधियों पर कड़ी नजर बनाए हुए हैं, ताकि इन अपराध समूहों के वैश्विक नेटवर्क को समय रहते रोका जा सके।