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Solar Panel Scam: जयपुर: राजस्थान में सरकारी इमारतों पर सोलर पैनल लगाने के लिए हुए 456 करोड़ रुपए के टेंडर में बड़ा कथित घोटाला सामने आया है। जिस कंपनी को यह काम सौंपा गया था, उसने 60 करोड़ रुपए की फर्जी बैंक गारंटी जमा कर दी।
बता दें कि इस गारंटी की एवज में राजस्थान अक्षय ऊर्जा निगम ने 46 करोड़ रुपए एडवांस राशि भी जारी कर दी, ताकि काम शुरू किया जा सके। सीबीआई की एंट्री के बाद यह मामला खुला है। निगम ने कंपनी को नोटिस जारी कर दिया है और अब ब्लैकलिस्ट करने के साथ एफआईआर दर्ज कराने की तैयारी है।
निगम ने हेम मॉडल में तीर्य नोपीकोन फर्म को यह काम सौंपा था। इसमें वे सभी अधिकारी संदेह के घेरे में हैं, जो इस प्रोजेक्ट से जुड़े रहे। कंपनी को इस वर्ष मार्च-अप्रैल में 100 मेगावाट के रूफटॉप सोलर प्रोजेक्ट का काम दिया गया था।
बैंक ने माना कि उनके कर्मचारी इसमें शामिल हैं। ऐसे में निगम ने एक टीम कोलकाता भेजी। यहां संबंधित बैंक प्रबंधन से जानकारी ली तो बैंक गारंटी फर्जी निकली। कंपनी ने भी एक अन्य मामले में एफआईआर दर्ज कराई हुई है। इस बीच अक्षय उर्जा निगम का मानना है कि यह काम अकेले बैंक कर्मचारी का नहीं हो सकता। इसमें कंपनी के कर्मचारियों की भी मिलीभगत की पूरी स्थिति है।
ठेका लेने वाली कंपनी को प्रोजेक्ट राशि का 10 प्रतिशत बैंक गारंटी जमा कर इसके आधार पर उतनी ही राशि अग्रिम (एडवांस) ले सकती है। सूत्रों की मानें तो निगम ने ईमेल से बैंक से इसकी पुष्टि कराई तो जवाब मिला कि गारंटी सही है। लेकिन इसी बीच सीबीआई ने निगम से कंपनी से जुड़े दस्तावेज मांग। संदेह हुआ तो निगम ने फिर बैंक से लिखित पुष्टि मांगी, जहां से जवाब मिला कि ऐसी कोई बैंक गारंटी जारी नहीं की गई।
फर्जी बैंक गारंटी मामला जानकारी में आने के बाद कंपनी को नोटिस दे दिया है। उन्हें तत्काल एडवांस राशि लौटाने के लिए कहा है।
-रोहित गुप्ता, प्रबंध निदेशक, राजस्थान अक्षय ऊर्जा निगम
Published on:
20 Aug 2025 08:22 am
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