
प्रतीकात्मक चित्र
राजस्थान हाईकोर्ट ने जयपुर हैरिटेज निगम की महापौर मुनेश गुर्जर के पति सुशील गुर्जर से जुड़े रिश्वत लेकर पट्टे जारी करने के मामले में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो से एक सप्ताह में केस डायरी तलब की है। न्यायाधीश विनोद कुमार भारवानी ने सुशील गुर्जर के जमानत प्रार्थना पत्र पर यह आदेश दिया। प्रार्थी पक्ष की ओर से अधिवक्ता दीपक चौहान ने हाईकोर्ट को बताया कि शिकायतकर्ता के खुद के भूखंड का कोई पट्टा नहीं है। वह तो रुपए लेकर लोगों को पट्टा दिलाने का काम करता है। शिकायतकर्ता खुद ही भ्रष्टाचार में लिप्त है। ट्रांसक्रिप्ट में याचिकाकर्ता का नाम नहीं है और जिन लोगों के भूखंडों के पट्टों की फाइलें महापौर के घर थीं, उनमें से किसी ने शिकायत दर्ज नहीं कराई है। इसके अलावा याचिकाकर्ता ने न तो रिश्वत की मांग की और न ही उससे रिश्वत राशि बरामद हुई है। प्रकरण राजनीति द्वेषता से प्रेरित है। ऐसे में उसे जमानत पर रिहा किया जाए। इसका राज्य सरकार की ओर से विरोध किया गया।
मुनेश गुर्जर का महापौर पद से निलंबन वापस
उल्लेखनीय है कि एसीबी ने पिछले दिनों महापौर मुनेश गुर्जर के घर पर छापा मारा था। एसीबी का आरोप है कि सुशील गुर्जर ने दो लाख रुपए प्रति पट्टे के हिसाब से रिश्वत ली। एसीबी ने सुशील गुर्जर के साथ ही दो दलालों को गिरफ्तार किया। इसके बाद राज्य सरकार ने मुनेश गुर्जर को महापौर पद से निलंबित कर दिया, जो बाद में राज्य सरकार वापस भी ले लिया था।
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Published on:
05 Sept 2023 09:29 am
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