
आने वाले समय में लड़े जाने वाले युद्धों के मद्देनजर भारतीय सेना ने अपनी तैयारी को परखने के लिए रेगिस्तान में दमखम का परिचय दिया है। सेना की बैटल एक्स डिवीजन ने पश्चिमी सीमा पर फ्यूचर रेडी की थीम पर अपने हथियारों व कौशल को परखा और अभ्यास किया। इस युद्धाभ्यास में मिशन ओरिएंटेड ट्रेनिंग, आधुनिक हथियारों और तकनीकी सिस्टम का समावेश किया गया। यह अभ्यास सेना की कोणार्क कॉप्र्स के तहत बैटल एक्स डिवीजन ने किया। अभ्यास में युद्ध क्षमता को कई गुना बढ़ाने वाले आधुनिक हथियारों और उपकरणों का भी प्रभावशाली प्रदर्शन किया गया।
सेना की बैटल एक्स डिवीजन की ओर से किए गए इस अभ्यास का मुख्य उद्देश्य रेगिस्तानी इलाकों में ऑपरेशनल रेडीनेस को परखना था। इसके अलावा नए उपकरणों जैसे ड्रोन्स, मानवरहित वाहन, और मोबाइल आर्टिलरी का उपयोग और दिन और रात के समय में युद्ध रणनीति का परीक्षण किया गया। इसके साथ टैंक, इन्फैंट्री और आर्टिलरी यूनिट्स के बीच तालमेल को भी जांचा गया। तीन चरणों में चले अभ्यास में मुख्य रूप से तैयारी और तैनाती चरण था, जिसके तहत यूनिट्स ने अपने उपकरणों को रेगिस्तानी इलाके में तैनात किया। रात में मूवमेंट, लॉजिस्टिक सपोर्ट और निगरानी तंत्र की स्थापना शामिल थी। वहीं, दूसरा चरण क्लोज क्वार्टर और टैक्टिकल प्रैक्टिस का रहा। इसमें सैनिकों ने टैंक, इन्फैंट्री और आर्टिलरी के साथ कोर्डिनेशन किया। टारगेट को चिह्नित कर ड्रोन से डेटा लेकर आर्टिलरी हमले किए गए। मानवरहित वाहन के जरिए दुश्मन क्षेत्र में गश्त और सर्च ऑपरेशन भी अभ्यास का हिस्सा था। अभ्यास का तीसरे चरण में सेना ने वर्तमान के साथ भविष्य में होने वाले संघर्ष के लिए भी तैयारी का अभ्यास किया।
Published on:
10 Jun 2025 08:49 pm
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