
जांजगीर-चांपा. वेतन विसंगति से जूझ रहे जिले के लिपिकों ने शुक्रवार को मोर्चा खोलते हुए अपनी मांगों का ज्ञापन कलेक्टर को सौंपा है। शुक्रवार को जिले भर के लिपिक अपने अपने दफ्तरों का काम छोड़ एकजुट हुए और नारेबाजी करते हुए कलेक्टर के पास पहुंचे। लिपिकों ने बताया कि वे पिछले 36 वर्षों से वेतन विसंगति से जूझ रहे है।
चार स्तरीय पदोन्नत वेतनमान लागू कराने के लिए उन्होंने पहले 12 जनवरी को मंत्रालय का घेराव किया था। इसके बाद अपनी पीड़ा का अहसास दिलाने के बाद भी उनकी मांगों पर सरकार विचार नहीं कर रही। जिसके चलते उन्हें चरणबद्ध आंदोलन के लिए मजबूर होना पड़ा।
जिला अध्यक्ष संतोष तिवारी के नेतृत्व में जिले के लिपिक शुक्रवार को मोर्चा खोलते हुए अपनी मांगों का ज्ञापन कलेक्टर को सौंपा। संतोष तिवारी ने बताया कि अमूमन सभी विभागों में लिपिक वर्ग के समकक्ष कर्मचारी 24 से उपर ग्रेड पे में काम कर रहे हैं, लेकिन हम पिछले 36 सालों से मात्र 1900 रुपए ग्रेड पे में काम कर रहे हैं।
राजस्थान मध्यप्रदेश सहित विभिन्न प्रांतों में लिपिक 4600 रुपए ग्रेड पे में काम कर रहे हैंए लेकिन छत्तीसगढ़ में मात्र 1900 रुपए ग्रेड पे है। इन मांगों को लेकर वे हमेशा सरकार को आगाह करते आ रहे हैं, लेकिन सरकार हमारी मांगों पर विचार नहीं कर रही। जिसके चलते उन्हें बार-बार आंदोलन के लिए विवस होना पड़ रहा है। इस अवसर पर जिला सचिव उज्जवल तिवारी, उपाध्यक्ष केआर आदित्य, महिला प्रकोष्ठ की जिला अध्यक्ष इला राय, महामंत्री एके तांडी, संगठन सचिव नरेंद्र सिंह, कोषाध्यक्ष प्रवीण दुबे सहित सैकड़ो की तादात में लिपिक मौजूद थे।
इस तरह करेंगे चरणबद्ध आंदोलन
प्रथम चरण : 11 मई को कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन
द्वितीय चरण : 26 मई को संभागीय मुख्यालय में धरना प्रदर्शन, मुख्यमंत्री को ज्ञापन
तृतीय चरण : 1 से 26 जून तक काली पट्टी लगाकर अनिश्चितकालीन काली पट्टी लगाकर करेंगे काम
चतुर्थ चरण : 27 जून को समस्त लिपिक सामूहिक अवकाश लेकर जिला मुख्यालय में धरना प्रदर्शन करेंगे
पंचम चरण : 25 जुलाई तक मांग पूर्ण नहीं होने की स्थिति में 26 जुलाई से काम ठप कर आंदोलन करेंगे
Published on:
11 May 2018 07:55 pm
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