बारिश के बाद राईकाबाग पुलिया पर जाम लग गया। हाईकोर्ट रोड पर ज्यादा पानी जमा होने से लोगों के वाहन बंद हो गए, जिन्हें डिवाइडर पर चढ़ाकर साइलेंसर में घुसे पानी बाहर निकाला गया। यहां कई लोग सुरक्षित स्थान पर खड़े हो गए। सोजती गेट चौकी के पास दो कार पार्क में खड़ी की हुई थी, पानी के तेज बहाव से कारें नाले की तरफ चली गई। कलक्ट्रेट के बाहर एक कार फंस गई, जिसको बामुश्किल से लोगों ने बाहर निकाला। इसी तरह सड़क पर तांगा फंस गया। अजीत कॉलोनी व कबूतरों के चौक इलाके में लोगों के घरों में पानी घुस गया। इसके अलावा पुलिस लाइन में पानी जमा हो गया। वहीं भीतरी शहर के जालोरी गेट क्षेत्र में कइयों के वाहन बह गए। लोगों के दुकान व कार्यालयों में पानी जमा हो गया।
कायलाना व सूरसागर गेंवा रोड पर भी पानी जमा होने से लोगों के वाहन बामुश्किल से निकलते नजर आए। इसके अलावा आरटीओ रेलवे फाटक पर पटरियों पर पानी जमा हो गया। वीर दुर्गादास सर्किल से मेडिकल कॉलेज तक वाहनों का जाम लगा रहा। सारण नगर के आगे श्री गणेश होटल तक बरसात और सीवरेज का पानी जमा हो गया। इस कारण यातायात भी बाधित हो गया। रेलवे स्टेशन के बाहर भी पानी का बहाव तेज होने से लोगों को खासी दिक्कतें आई।
महापौर के वार्ड में निकासी व्यवस्था ढंग से नहीं महापौर घनश्याम ओझा के वार्ड संख्या 11 में भी पानी निकासी की व्यवस्था कमजोर नजर आई। यहां ऑटो व कई वाहन पानी के तेज बहाव से थम गए। एक ऑटो को लोगों की मदद से सुरक्षित जगह ले जाया गया। यहां लोगों के घरों में पानी घुस गया।
डर्बी कॉलोनी के 4 सौ घर डूबे
बासनी स्थित डर्बी कॉलोनी के 4 सौ घर पानी में डूब गए। इस क्षेत्र में एक खेत में लंबे समय से औद्योगिक इकाई व सीवरेज का पानी बहकर आ रहा था। ऐसे में लोगों के घरों की खिड़कियों से महज एक फीट नीचे ही पहले से पानी भरा हुआ था। तेज बारिश से यहां चार सौ परिवार सड़क पर आ गए है। वहीं यहां लंबे समय से लोग प्रशासन से समस्या से निजात दिलाने की गुहार कर रहे है, लेकिन उनकी समस्या की तरफ कोई ध्यान नहीं दे रहा है। यहां लोगों के घरों की लाइटें भी गुल कर दी गई है। जबकि पत्रिका ने यहां समय-समय पर लोगों की समस्याओं को उजागर भी किया है।
डामर के रीकार्पेट की व्यवस्था गड़बड़ नगर निगम ने पन्द्रह करोड़ लगाकर सड़कों पर डामर तो करवा दिया। डामर के रीकार्पेट (डामर के ऊपर डामर की परत बिछाना) से सड़कों का केम्बर (सड़क का लेवल स्तर) बिगड़ चुका है। ऐसे में सड़कों की ढलान बीच से ऊंची व साइड में नीचे होने की बजाय एक सी हो गई। ऐसे में पानी को जमा होने का स्थान मिल जाता है।
रोडलाइट बंद बारिश के बाद शाम को शहर के अधिकांश हिस्सों में रोड लाइटें गुल हो गई। लोगों को अपने रोजमर्रा के कामों के लिए घरों से टॉर्च लेकर बाहर निकलना पड़ा।