
केशव प्रसाद मौर्य ने कहा, 'आज कानपुर के ऐतिहासिक और प्रसिद्ध गुरुद्वारा में मैंने मत्था टेका। कानपुर का यह ऐतिहासिक स्थान है जहां केवल कानपुर ही नहीं देश और दुनिया से विशेष तौर पर लोग आते हैं। आज यहां माथा टेकने का सौभाग्य मिला है। मैं इस अवसर पर गुरु चरणों में नमन करता हूं और जो त्याग व बलिदान गुरु गोविंद सिंह और उनके पुत्रों ने किया है, उसे देश हमेशा याद रखेगा'।
केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि सात और नौ वर्ष की आयु कोई आयु नहीं होती, लेकिन राष्ट्र के लिए, धर्म के लिए उन्होंने दीवारों में चुना जाना स्वीकार किया, लेकिन शीश झुकाना स्वीकार नहीं किया। धर्म परिवर्तन करना स्वीकार नहीं किया। आज हमें प्रेरणा भी मिलती है और किसी भी चुनौती का सामना करने का साहस भी जागृत होता है।
आरएसएस सरसंघचालक मोहन भागवत के बयान पर केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि मैं आरएसएस का स्वयंसेवक हूं। हमारे लिए तो उनका हर बयान आदेश होता है। अखिलेश यादव या अन्य राजनेता, जो अपनी राजनीति चमकाने के लिए समय-समय पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को निशाने पर लेते रहे हैं। आज उनको राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ अच्छा लगा है, तो मैं उनसे यही कहूंगा कि वे संघ की शाखा में जाना शुरू कर दें।
संसद में गतिरोध पैदा करने वाले लोग आने वाले चुनावों में संसद में पहुंचने की स्थिति में नहीं रहेगे। राहुल गांधी को विरासत में सियासत मिली है। अगर उनको संघर्ष से सियासत में जगह मिली होती, तो वह इस प्रकार का आचरण नहीं करते।
सोर्स: IANS
Updated on:
22 Dec 2024 06:00 pm
Published on:
22 Dec 2024 05:36 pm
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