
School Holiday declared :मध्य प्रदेश के खरगोन जिले में जारी तेज बारिश के चलते जिला प्रशासन ने बड़ा फैसला लेते हुए हुए सोमवार को जिले के सभी स्कूलों की छुट्टी घोषित कर दी है। यहां बीते करीब 48 घंटों से झमाझम बारिश का सिलसिला जारी है, जिसमें सतर्कता को मद्देनजर रखते हुए प्रशासन ने आज स्कूलों की छुट्टी डिकलेयर कर दी है।
इस संबंध में जिला शिक्षा अधिकारी का कहना है कि भारी बारिश के कारण जिलेभर में कक्षा नर्सरी से लेकर 12वीं तक के सभी स्कूली बच्चों की सुरक्षा और स्वास्थ्य को मद्देनजर रखते हुए छुट्टी का आदेश जारी किया गया है।
बता दें कि जिले में लगातार हो रही बारिश से जन जीवन अस्त व्यस्त होने लगा है। बारिश के चलते जिले के अधिकतर नदी-नाले उफान पर आ चुके हैं। भारी बारिश की वजह से चित्तौड़गढ़-भुसावल रोड पर भोगा नाले में बाढ़ के हालात हैं। हालात ये हैं कि मार्ग पर दोनों तरफ वाहनों का भारी जाम लग गया है। वहीं, कुंदा नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। नदी का पानी लिंक रोड तक आ पहुंचा है।
शहर सहित अंचल में अब तक पिछले साल से अधिक बारिश हो चुकी है। बारिश के चलते जिले के तालाब 88 फीसदी भर चुके हैं। जबकि 70 तालाब ओवरफ्लो हो चुके हैं। अभी वर्षाकाल का समय बाकी है। ऐसे में आने वाले दिनों में अच्छी बारिश से जलस्तर में और बढ़ोतरी होगी। हालांकि पिछले साल की तुलना में तालाबों में अबतक अधिक पानी संग्रहित हो चुका है।
जिले के सबसे बड़े अपरवेदा बांध व देजला देवाड़ा जलाशय पिछले साल की तुलना में पहले ही भर चुके हैं। तालाबों से आने वाले रबी सीजन में फसलों की सिचाई के साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल उपलएध होगा। उल्लेखनीय है कि जिले में जल संसाधन विभाग अंतर्गत 155 तालाब है। इनमें से 70 तालाब पूरी तरह से भर चुके हैं। जबकि शेष तालाबों में भी 90 फीसद तक जल संग्रहण हो चुका है।
जिले के झिरन्या क्षेत्र वेदा नदी पर बना अपरवेदा जलाशय भी पूर्ण क्षमता से भर चुका है। नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण के अंतर्गत यह तालाब आता है। बांध का जलस्तर पूर्ण भराव क्षमता 317 मीटर के करीब 316.60 मीटर तक पहुंच गया है। बांध में जल स्तर सुरक्षित लेवल तक बनाए रखने के लिए बांध का 1 गेट 0.50 मीटर खोला गया है।
जिले के भगवानपुरा क्षेत्र में देजला देवाड़ा जलाशय पूरी संग्रहण क्षमता 50.29 मिलियन घर मीटर तक भर चुका है। स्पिल से पानी बहने लगा है। जल संसाधन विभाग अंतर्गत यह जिले का सबसे बड़ा तालाब है। इससे नौ हजार हेक्टेयर में ङ्क्षसचाई होगी। वहीं जल मिशन के माध्यम से गांवों में पेयजल के लिए भी पानी आरक्षित रखा गया है।
Updated on:
02 Sept 2024 10:03 am
Published on:
02 Sept 2024 10:02 am
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