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युवा किसान पर आसमान से मौत बनकर गिरी आफत, इधर मितानिनों को ढोने गई थी एंबुलेंस

खेत में अरहर लगाने के दौरान हुआ हादसे का शिकार, समय पर एंबुलेंस नहीं मिलने का परिजन ने लगाया आरोप, डॉक्टरों ने घोषित किया मृत

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पोड़ी बचरा. ग्राम पंचायत पोड़ी के बड़कापारा निवासी युवा किसाने रविवार को अपने खेत में अरहर की फसल लगा रहा था। इस दौरान बारिश के साथ गिरी आकाशीय बिजली की चपेट में आकर वह बेहोश हो गया। उसे आनन-फानन में अस्पताल ले जाया गया, लेकिन जांच पश्चात डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

मृतक के परिजन ने आरोप लगाया है कि उन्हें समय पर एंबुलेंस नहीं मिली, इस कारण जान चली गई। बाद में पता चला कि एंबुलेंस एक कार्यक्रम में खड़ी थी। रात में उसमें मितानिनों को घर पहुंचाया गया।


कोरिया जिले के ग्राम पोंड़ी निवासी जितेंद्र सिंह पिता स्व. रामनारायण सिंह (32) रविवार को अपने खेत में अरहर की फसल लगा रहा था। इस दौरान शाम 4.30 बजे आकाशीय बिजली की चपेट में आने से अचेत अवस्था में खेत की मेड पर गिर गया था। बारिश बंद होने के बाद परिजन जानकारी लेने पहुंचे तो बेहोश पड़ा था।

मामले में तत्काल पोड़ी प्राथमिक स्वास्थ केंद्र लाया गया। जहां प्राथमिक उपचार करने के बाद जिला अस्पताल रेफर कर दिया था। जिला अस्पताल पहुंचने के बाद डाक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया।


एंबुलेंस नहीं मिली, परिजन परेशान
ग्रामीणों का कहना है कि आकाशीय बिजली गिरने से गंभीर रूप से घायल को जिला अस्पताल पहुंचाने में एंबुलेंस की सुविधा नहीं मिली। इधर परिवार के लोग वाहन व्यवस्था करने में परेशान थे और पीडि़त व्यक्ति को जिला अस्पताल ले जाने में देरी हुई थी। ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि डॉक्टर कोफोन करने के बाद अस्पताल नहीं आए थे।

इसके बाद आरएमए ने प्राथमिक उपचार कर रेफर किया था। इस दौरान एंबुलेंस की मांग करने पर प्रभारी डॉक्टर से बात करने की सलाह दी थी। इस पर ग्रामीणो ने प्रभारी डाक्टर को फोन कर एम्बुलेंस मुहैय्या करने को कहा तो उन्होंने चालक नहीं है कहकर अपना पल्ला झाड़ लिया।


ग्रामीणों का आरोप, कार्यक्रम में एंबुलेंस की लगी थी ड्यूटी
बताया जा रहा है कि रविवार को बचरा स्थित दीपक राइस मिल में मितानिनों की मीटिंग रखी गई थी। इसमें श्रममंत्री भइयालाल राजवाड़े भी मौजूद थे। यहां प्रभारी डॉक्टर शासकीय एम्बुलेंस के साथ मौजूद थे और देर रात तक मीटिंग चली थी।

बैठक खत्म होने के बाद मितानिनों को एम्बुलेंस से उनके घर पहुंचाया गया था। वहीं गाज पीडि़त व्यक्ति को चालक नहीं होने की बात कहकर एम्बुलेंस की सुविधा नहीं दी थी।


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