
कोटा . एक फर्म के मालिक से पेनल्टी माफ करने की एवज में रिश्वत लेते गिरफ्तार हुए वाणिज्यिक कर उपायुक्त के निजी सहायक को अदालत ने गुरुवार को 7 दिसम्बर तक जेल भेज दिया। वहीं एसीबी टीम ने उपायुक्त व लिपिक से दिनभर कार्यालय में पूछताछ की।
तालेड़ा स्थित महेन्द्र ट्रेडर्स के मालिक सुमित जैन से मिसमैच की 3.50 लाख रुपए पेनल्टी माफ करने की एवज में 11 हजार रिश्वत लेते एसीबी टीम ने बुधवार को वाणिज्यिक कर उपायुक्त (अपील) शिवदयाल मीणा के निजी सहायक जितेन्द्र परचवानी को रंगे हाथों गिरफ्तार किया था। कागजी कार्रवाई पूरी करने के बाद एसीबी ने उसे गुरुवार दोपहर बाद अदालत में पेश किया। जहां से उसे 7 दिसम्बर तक जेल भेज दिया।
पति की करतूत पर रोती रही पत्नी : इधर, जितेन्द्र के परिजनों को उसके पकड़े जाने की सूचना मिलने पर पत्नी व परिजन कोटा पहुंचे। वे दिनभर एसीबी कार्यालय में अधिकारियों से जितेन्द्र के बेगुनाह होने की गुहार लगाते रहे। पत्नी पूरे समय रोती ही रही।
संदेह के घेरे में उपायुक्त : एसीबी निरीक्षक अजीत बागडोलिया ने बताया कि रिश्वत मामले में उपायुक्त शिवदयाल व लिपिक लालचंद की भूमिका भी संदेह के घेरे में है। इसलिए दोनों से कार्यालय में दिनभर पूछताछ की। मामले में अनुसंधान किया जा रहा है।
Published on:
23 Nov 2017 09:43 pm
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