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उत्तर प्रदेश में संचालित नर्सिंग व पैरामेडिकल संस्थानों की गुणवत्ता को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सख्त रुख अपनाया है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि गुणवत्ता विहीन नर्सिंग और पैरामेडिकल संस्थानों को मान्यता दी गई तो इसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। सीएम ने कहा कि चाहें नर्सिंग कॉलेज हो श फिर पैरामेडिकल कॉलेज हो, इन सभी संस्थानों की गुणवत्ता का प्रमाणन जरूरी है। इसलिए अच्छे संस्थानों की पहचान करते हुए मेंटॉर-मेंटी मॉडल को लागू किया जाए। उन्होंने कहा कि सेवा चिकित्सा व्यवस्था के क्षेत्र में नर्सिंग और पैरामेडिकल रीढ़ समान हैं। छात्रों के करियर के लिए इसमें कई संभावनाएं हैं। इसलिए खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं होगा।
सीएम ने की समीक्षा बैठक
बता दें कि सीएम योगी ने शुक्रवार को नर्सिंग और पैरामेडिकल सस्थानों की क्वालिटी सुधार को लेकर समीक्षा बैठक की। यहां उन्होंने निर्देश दिए कि हर नर्सिंग और पैरामेडिकल संस्थान में करियर काउंसलिंग कराई जाए। हर संस्थान में मानकों का कड़ाई से अनुपालन कराया जाए। उन्होंने कहा कि पैरामेडिकल पाठ्यक्रमों के सुचारू संचालन व नियमन के लिए स्टेट मेडिकल फैकल्टी के तहत डेंटल काउंसिल, मेडिकल काउंसिल और नर्सिंग एंड मिडवाइफरी काउंसिल की भांति पैरामेडिकल काउंसिल का गठन किया जाए।
प्लेसमेंट पर विशेष जोर दिया
इसके अलावा सीएम ने ये भी कहा कि नर्सिंग व पैरामेडिकल संस्थानों में समय से दाखिला, परीक्षा और तय समय सीमा में प्रमाण पत्र जारी कराए जाएं। शैक्षिक गुणवत्ता-शैक्षिक सुविधाओं के स्तर का प्रमाणन व क्वालिटी कंट्रोल ऑफ इंडिया सहित विभिन्न प्रतिष्ठित गुणवत्ता संस्थानों से निरीक्षण कराए जाएं। उन्होंने संस्थान प्लेसमेंट पर विशेष जोर देते हुए आगे कहा कि प्लेसमेंट के जरिए छात्रों को रोजगार मुहैया कराएं। साथ ही अच्छे संस्थानों की बेस्ट प्रैक्टिस को दूसरे संस्थानों में लागू करने के निर्देश भी दिए।
Published on:
16 Jul 2022 02:24 pm
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