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मेरठ में नकली फूड सप्लीमेंट और स्टेराॅयड ने ली जिम ट्रेनर की जान

मेरठ में नकली फूड सप्लीमेंट और स्टेराॅयड ने एक जिम ट्रेनर की जान ले ली। जिम ट्रेनर करीब 27 दिन से अस्पताल में भर्ती थे। जिसके बाद देर रात उन्होंने अस्पताल में दम तोड़ दिया। जिम ट्रेनर का नाम संजीव धामा है। चिकित्सकों ने आशंका जताई है कि नकली फूड सप्लीमेंट और अधिक स्टेराॅयड की मात्रा का सेवन करने से जिम ट्रेनर संजीव धामा की जान गई है।

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मेरठ

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Kamta Tripathi

Sep 11, 2022

मेरठ में नकली फूड सप्लीमेंट और स्टेराॅयड ने ली जिम ट्रेनर की जान

मेरठ में नकली फूड सप्लीमेंट और स्टेराॅयड ने ली जिम ट्रेनर की जान

नकली फूड सप्लीमेंट और स्टेरॉयड के अधिक सेवन ने जिम ट्रेनर संजीव धामा की जान ले ली। जिम ट्रेनर संजीव धामा के हंसते-खेलते परिवार की खुशियां मातम में बदल गईं। संजीव धामा अस्पताल में जिंदगी के लिए जूझते रहे। उनकी मौत के बाद परिजनों का रोकर बुरा हाल है। इलाज में शामिल रहे चिकित्सकों ने आशंका जताई कि नकली फूड सप्लीमेंट और स्टेरॉयड की मात्रा अधिक लेने से ही ऐसा हुआ है। थाना मेडिकल क्षेत्र के राजनगर कॉलोनी निवासी संजीव धामा पुत्र भोपाल सिंह सेंट्रल मार्केट स्थित जिम में ट्रेनर थे। पत्नी आराधना के अनुसार गत 13 अगस्त को पति के पेट में अचानक दर्द हुआ। वह उन्हें संतोष हॉस्पिटल ले गए। चिकित्सक ने उनके पेट में पैनक्रियाज में परेशानी बताई। इसके बाद न्यूटिमा अस्पताल में इलाज शुरू कराया। जहां पेट में संक्रमण बढ़ता गया। कई अस्पतालों में इलाज के बाद राहत नहीं मिली तो एम्स दिल्ली भतÊ कराया गया। जहां उनकी मौत हो गई।


संजीव स्वस्थ रहने के लिए फूड सप्लीमेंट और स्टेरॉयड का उपयोग करते थे। उन्हें क्या पता था कि यह सप्लीमेंट उनके शरीर को खोखला बना रहा है। वह रोते हुए कभी बेटियों की ओर देखतीं तो कभी बूढे़ सास-ससुर की ओर। संजीव के पिता भोपाल सिंह और मां रीना पुत्रवधू और पोतियों को देखकर बिलखने लगते हैं। संजीव बड़ा जिम ट्रेनर बनने के साथ आलीशान घर बनाने और बेटियों को कामयाब करने की बात करते थे। संजीव खैरनगर से फूड सप्लीमेंट और स्टेरॉयड खरीदकर लाते थे। बता दें कि मेरठ के इसी बाजार में फूड विभाग और एसओजी की टीम कई बार छापा मारकर नकली फूड सप्लीमेंट ककी खेप पकड़ चुकी है। इसके बाद भी नकली फूड सप्लीमेंट का यह अवैध कारोबार बंद नहीं हुआ।


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चिकित्सक डॉ. संदीप गर्ग ने बताया कि उन्होंने नौ दिन तक संजीव का इलाज किया। उनकी दोनों किडनी और पैंक्रियाज काम नहीं कर रहे थे। ऐसा स्टेरॉयड की अधिकता के कारण हो सकता है। वह जिम करते थे। उनके मसल्स तो थे, मगर शरीर खोखला हो गया था। वरिष्ठ फिजिशियन डॉ. प्रवीण पुंडीर कहते हैं कि स्टेरॉयड का अधिक उपयोग शरीर के लिए जहर से कम नहीं है। स्टेरॉयड से बनाई बॉडी सिर्फ बाहर से देखने में सुदृढ़ लगती है, अंदर से खोखली हो जाती है। हड्डियां कमजोर हो जाती हैं।