जांच के दौरान बड़ा खुलासा जांच में यह बात सामने आई है कि गाड़ी के भीतर गैलन में भरकर विस्फोटक रखा गया था, जिसके कुछ टुकड़ों को मौके से जांच एजेंसी ने बरामद किया है। यह कैन तकरीबन 20-35 लीटर का था, लिहाजा इसमें अधिकतम 30 किलोग्राम से अधिक आरडीएक्स नहीं रखा जा सकता था। माना जा रहा है कि इसी विस्फोटक के जरिए सीआरपीएफ के दस्ते पर विस्फोट किया गया था। जांच एजेंसियों को एक लोहे का टुकड़ा मिला है जिसपर कुछ नंबर लिखे हैं। माना जा रहा है कि यह गाड़ी का चेसिस नंबर है, जिसके आधार पर जांच एजेंसियों ने गाड़ी के मालिक का पा लगा लिया है, लेकिन जो गाड़ी इस नंबर पर रजिस्टर है उसका इस्तेमाल इस हमले में नहीं किया गया है। बता दें कि जांच में यह बात सामने आई है कि हमले के लिए आतंकियों ने लाल रंग की मारूति ईको को का इस्तेमाल किया था, जिसमे आईईडी और डिटोनेटर रखा हुआ तआ, जिसकी वजह से सीआरपीएफ के काफिले में आने की वजह से विस्फोट हो गया था। गौरतलब है कि इस हमले की जांच एनआईए और जम्मू कश्मीर की पुलिस मिलकर कर रही हैं।
विदित हो कि सीआरपीएफ का यह दस्ता जम्मू से श्रीनगर जा रहा था, इसी दौरान दस्ते पर हमला हुआ था। इस हमले में देश के चालीस जवान शहीद हो गए, जबकि कुछ अब भी घायल है। वहीं, सेना ने साफ चेतावनी दे दी है कि एनकाउंटर वाले एरिया में कोई भी पत्थरबाज न जाएं अन्यथा काफी बुरा परिणाम होगा।