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नई दिल्ली। दिल्ली में कोरोना वायरस ( coronavirus in Delhi ) के नए मामले हर दिन तेजी से बढ़ रहे हैं।
बीते 24 घंटे के दौरान दिल्ली में कोरोना ( Coronavirus Case ) के 1513 नए रोगी मिले हैं। दिल्ली में कोरोना रोगियों ( Corona patients ) के मिलने का यह एक दिन में सबसे बड़ा रिकॉर्ड है।
इसके साथ ही दिल्ली सरकार ( Delhi Goverment ) ने कोरोना से मरने वाले 50 लोगों का नया आंकड़ा भी जारी किया है।
दिल्ली में कोरोना वायरस ( Coronavirus outbreak ) से मरने वाले 50 नए लोगों की संख्या जारी की गई है। दिल्ली सरकार ने अपने आधिकारिक बुलेटिन ( Health Bulletin ) में कहा कि इन 50 व्यक्तियों में से 9 व्यक्तियों की मृत्यु 31 मई से 1 जून के बीच हुई है।
जबकि शेष 41 व्यक्तियों की मृत्यु 15 अप्रैल से 30 मई के बीच अलग-अलग दिनों में हुई है। दिल्ली में अभी तक कोरोना से 606 लोगों की मृत्यु हो चुकी है।
वहीं कोरोना की चपेट में आए रोगियों की कुल संख्या 23,645 हो गई है।
दिल्ली सरकार ने 8405 कोरोना पॉजिटिव रोगियों को उनके घर में ही आइसोलेशन में रखा है। दिल्ली सरकार के मुताबिक इन व्यक्तियों को स्वास्थ्य संबंधी कोई बड़ी समस्या नहीं है।
सभी को घरों के अंदर आइसोलेशन में रहने को कहा गया है। साथ ही इस दौरान यह लोग लगातार फोन के माध्यम से डॉक्टरों के संपर्क में रहेंगे।
मुख्यमंत्री केजरीवाल ने कहा कि मोटे तौर पर कहना चाहता हूं कि जितने लोगों को कोरोना हो रहा है, उसमें ज्यादातर लोगों को कोई लक्षण नहीं दिख रहा है या उनको इतना मामूली लक्षण हल्की खांसी या बुखार हो रहा है और वे अपने घर पर ही इलाज करा रहे हैं।
15 दिन में करीब 8500 केस बढ़े, लेकिन अस्पतालों में केवल 500 केस ही बढ़े हैं। इसलिए घबराने की जरूरत नहीं है।
कोरोना केस इतने बढ़ने नहीं चाहिए और यह चिंता का विषय है। हम भी नहीं चाहते हैं कि केस बढ़े। कोरोना के अधिकतर मरीज अपने घर पर ही ठीक हो रहे हैं।
दिल्ली में फिलहाल कोरोना के 13497 एक्टिव रोगी है जबकि अभी तक 9542 कोरोना रोगी स्वस्थ हो चुके हैं।
इसके साथ ही दिल्ली में कोरोना हॉटस्पॉट की संख्या की संख्या भी बढ़कर 148 हो गई है।दिल्ली सरकार ने कोरोना रोगियों के लिए एक विशेष ऐप भी जारी किया है।
इस ऐप के जरिए कोरोना रोगी दिल्ली के विभिन्न अस्पतालों में अपने लिए बेड और वेंटिलेटर ढूंढ सकते हैं।
दिल्ली सरकार द्वारा जारी किया गया है। यह ऐप दिल्ली के अस्पतालों की जानकारी देगा। इसमें दिल्ली के सरकारी और प्राइवेट दोनों ही तरह के अस्पताल शामिल हैं।
ऐप के जरिए यह पता लगाया जा सकता है कि किस अस्पताल में कितने बेड, वेंटीलेटर और आईसीयू बेड खाली हैं।
Updated on:
04 Jun 2020 08:16 am
Published on:
03 Jun 2020 10:42 pm
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